लोकसभा चुनाव दूसरा चरणः दलित-मुस्लिम गठजोड़ से भाजपा मुश्किल में
जानकारी के अनुसार, विनोद कुमार मूलरूप से गाजियाबाद के लोनी इलाके के रहने वाले थे। हाल ही में उन्होंने थाना लोनी बॉर्डर इलाके की लक्ष्मी गार्डन कॉलोनी में अपना मकान बनाया था। जहां पर उनकी दो बेटियां और एक बेटे समेत उनकी पत्नी रहते हैं। विनोद कुमार 2003 में सीआरपीएफ में कॉन्स्टेबल के पद पर भर्ती हुए थे, जिनकी विभिन्न स्थानों पर पोस्टिंग रही। फिलहाल वह जम्मू-कश्मीर के कटरा में तैनात थे। मंगलवार देर रात उनके परिवार को सूचना मिली कि विनोद कुमार ने कटरा में स्थित एक अस्पताल में आखिरी सांस ली है। जैसे ही यह सूचना उनके परिजनों ने सुनी तो उनके होश उड़ गए और यह खबर इलाके में आग की तरह फैल गई। इसके बाद पूरे इलाके में शोक छा गया।आजम खान के खिलाफ रामपुर की सड़कों पर उतरे दर्जनभर संगठनों ने आयोग से की ये बड़ी मांग, देखें वीडियो-
इस पूरे मामले में उनके चाचा ने जानकारी देते हुए बताया कि विनोद कुमार की मौत की सूचना देर रात मिली थी, लेकिन अभी तक यह साफ नहीं हो पाया है कि आखिर वह अस्पताल में किस कारण से भर्ती हुए थे। बहरहाल उनका पार्थिव शरीर उनके निवास स्थान पर लाने की प्रक्रिया चल रही है।UP Lok sabha election Result 2019 से जुड़ी ताज़ा तरीन ख़बरों, LIVE अपडेट तथा चुनाव कार्यक्रम के लिए Download करें patrika Hindi News App