Ration Card Renewal : खाद्य विभाग का नियम है कि पांच-पांच साल में राशनकार्ड का सत्यापन किया जाए। इसके बाद भी अभी अवधि पूरी नहीं होने वालों के कार्ड निरस्त होने की बात विभाग द्वारा की जा रही है। विभागीय सूत्रों का कहना है कि यह राशनकार्ड का नहीं, बल्कि कार्ड के कवर का नवीनीकरण हो रहा है। बता दें कि पिछली सरकार ने जिला स्तर पर 6 करोड़ रूपए के राशन कार्ड छपवाए थे। अब सिर्फ कवर बदलने के लिए इतना ही खर्च किया जा रहा है।
हो रहा है विरोध Ration Card : कांग्रेस के जनप्रतिनिधि सहित सत्ता पक्ष के विधायकों ने इस मामले को लेकर सदन में आपत्ति दर्ज कराई है। उनका कहना था कि एक दो साल पहले बने लाखों राशन कार्ड का नवीनीकरण महिलाओं के साथ-साथ सरकारी कर्मियों के समय और पैसे की बर्बादी है। सरकार पांच साल पहले बने राशन कार्ड का नवीनीकरण करे कोई आपत्ति नहीं है लेकिन एक से चार साल पहले बने राशन कार्ड का नवीनीकरण अवधि पूरी होने के बाद ही किया जाना चाहिए।
नवीनीकरण में कुछ नहीं बदल रहाकेवल राशन कार्ड के कवर का नवीनीकरण किया जा रहा है। पत्रिका पड़ताल में यह बात सामने आई कि कार्डधारियों और सदस्यों की उम्र पांच साल पहले जो थी वही रहेगी। किसी परिवार में मुखिया या सदस्य के जन्म, विवाह के कारण नाम जोड़ने और मृत्यु होने या कही जाने पर नाम काटने का विकल्प नहीं है। सबसे आश्चर्य की बात ये है कि परिवार के मुखिया सहित किसी भी सदस्य की पांच साल पहले जो उम्र राशन कार्ड में दर्ज है वह यथावत रहेगी।
राशन कार्ड परिचय पत्र के रूप में भी उपयोग होता है। परिवार के सदस्यों की उम्र पांच साल काम कम होने पर अनेक सरकारी योजनाओं के लाभ से वंचित रहेंगे। प्रदेश में 77 लाख राशनकार्ड धारक हैं। आज दिनांक तक 20 लाख राशन कार्ड के कवर का नवीनीकरण नहीं हो पाया है।
इसका कारण क्यू आर कोड का सर्वर डाउन होने पर नहीं चलना है। कार्ड धारकों को बार-बार राशन दुकानों का चक्कर अलग लगाना पड़ रहा है। 77 लाख राशनकार्डों के नवीनीकरण का कार्य 25 जनवरी से जारी है। 21 फरवरी की स्थिति में 64 लाख 22 हजार 571 राशन कार्डधारियों ने नवीनीकरण के लिए आवेदन किया है। राशनकार्ड नवीनीकरण का कार्य 25 फरवरी तक किया जाएगा।