नोरा फतेही का जन्म 6 फरवरी 1992 को कनाडा में हुआ था। लेकिन उनके परिवार की जड़ें मोरक्को से जुड़ी हुईं हैं। हालांकि वह अब खुद को दिल से भारतीय बताती हैं। जिसकी सबसे बड़ी वजह भारत से उन्हें मिली पहचान और दर्शकों का प्यार है। बॉलीवुड में एंट्री से पहले उन्हें एक कठिन दौर से गुजरना पड़ा।
एक कुकिंग रियालिटी शो में नोरा ने बताया था कि वह 16 साल की उम्र से अपना जेब खर्च निकालने के लिए एक रेस्टोरेंट में बतौर महिला वेटर काम करने लगीं थीं। उन्हें इस काम में खुद को ढालने के लिए शुरूआती तौर में कड़ी मशक्कत करनी पड़ी थी। इसके अलावा नोरा ने बताया कि रेस्टोरेंट में कुछ ऐसे कस्टूमर भी आते थे। जिनके दिमाग में कुछ गलत विचार चल होते थे। वे नोरा से गलत डिमांड की पेशकश करते और उन पर अश्लील कमेंट भी करते थे। इसके अलावा नोरा ने बताया कि उस देश में पतली लड़कियों को खास पसंद नहीं किया जाता था। उनके स्थान पर हेल्दी और कर्वी लड़कियों को तरजीह दी जाती थी। नोरा को कनाडा में इस भेदभाव से भी गुजरना पड़ा था। इसके अलावा नोरा को इन दिनों में आठ लड़कियों के साथ एक ही रूम में रहना पड़ता था।
इतने संघर्ष के बाद नोरा फतेही ने हार नहीं मानी और लगातार संघर्ष करती रहीं। इसके बाद उन्होनें बॉलीवुड की ओर रूख किया। दक्षिण भारतीय सिनेमा में उन्होनें कई फिल्मों में आइटम नंबर किये। लेकिन उन्हें वहां खास पहचान नहीं मिली। 2015 में उनकी किस्मत तब बदली जब उन्हें टीवी रियलिटी शो बिग बॉस के नौवें सीजन में बतौर प्रतिभागी जुड़ने का ऑफर आया। वह इस सीजन के अतिंम दौर तक पहुंची।
इसके बाद नोरा फतेही की ख्याति फैलती गई। सबसे बड़ा मौका उनके तब आया जब उन्हें मशहूर फिल्म बाहुबली द बिगनिंग में आइटम करने का मौका मिला। इसके बाद वह जॉन अब्राहम की सत्यमेव जयते में ‘दिलवर’ गाने में थिरकती नजर आईं। इसके बाद नोरा फतेही का जादू लोगों के सिर चढ़कर बोलने लगा।