उसलापुर फाटक के पास स्थित फर्नीचर दुकान में राममनो कुशवाहा (32) पिता सन्तु प्रसाद कुशवाहा बढ़ई का काम करता था। फर्नीचर दुकान के पीछे उसका घर है। दोपहर करीब 12 से 1 बजे के बीच रामसनों ने अपने घर के सामने लगभग 50 मीटर दूर झाडिय़ों में गमछे का फंदा बनाकर आत्महत्या कर ली। रामसनों के पिता सन्तु प्रसाद ने कहा कि बेटा अपनी पत्नी से काफी परेशान था।
लगभग 4 माह पूर्व रामसनो की पत्नी शकुंतला उर्फ खुशबू अपने मायके कुदुदण्ड त्योहार मनाने की बात कह कर गई थी। त्योहार बितने के बाद रामसनो पत्नी व दोनों बेटियों को ले जाने के लिए ससुराल गया था लेकिन शकुंतला कुशवाहा ने आने से मना कर दिया। चार माह में रामसनो, पिता सन्तु व मां के साथ ही कई परिजन भी शकुंतला को मायसे से ससुराल गए लेकिन शकुंतला ने जाने से उसके पिता ने भेजने से इंकार कर दिया। पत्नी आने को तैयार नहीं हुई तो गुरुवार को दोपहर 12 से 1 बजे के बीच फंदे पर लटक आत्महत्या कर ली। मामले में सिविल लाइन पुलिस ने मर्ग कायम कर सुसाइड नोट को बरामद कर मामले की जांच कर रही है।
दो लाइन का लिखा सुसाइड नोट
रामसनो कम पढ़ा लिखा था वह आत्म हत्या करने पहले सुसाइड नोट लिखना चाहता था, उसने दो लाइन लिखा जिसमें अपना नाम व पिता का नाम लिखा व मरने की बात लिख रहा था। तीसरी लाइन आधी लिखा फिर कुछ शब्द काटे और लिखना छोड़ दिया। सुबह रामसनो ड्यूटी पर भी गया था व हाजिरी रजिस्टर पर साइन भी किया था।
पिता ने बताया, कहता था मेरी खुशबू को वापस ला दो
मृतक के पिता सन्तु कुशवाहा व अन्य परिजन ने बताया कि रामसनो अपनी पत्नी शकुंतला उर्फ खुशबू से बहुत प्यार करता था। पत्नी के मायके जाने के बाद न आने से काफी परेशान था। घर में वह सभी से रो रो कर कहता था मेरी खुशबू को ला दो। बेटे के दुख को देख हम सभी ने बहु व उसके पिता के पैर भी पकड़े व मिन्नतें भी की लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। बेटे को समझाया लेकिन वह इतना दुखी था किसी की बात सुनता ही नहीं था।