ईंटखेड़ी में हुए इस्लामिक आयोजन में देशभर से लोग जमा हुए। चार दिन तक मजहबी तकरीरें चलीं। खाने के 44 स्टॉल लगाए गए थे। यहां से वेस्टेज खाने को खाद में बदला गया। पानी के लिए अधिकांश जगहों पर बॉटल मुहैया कराई गई। रियायती दरों पर होने के कारण इनका खूब उपयोग हुआ। करीब 15 लाख बॉटल यहां से निकली। खाली बॉटल के कचरे को इज्तिमा स्थल पर ही क्रश कर दिया गया। करीब 34 मीट्रिक टन गीला कचरा जमा हुआ। वहीं कॉटन, सूखी पन्नी सहित अन्य को मिला 12 मीट्रिक टन सूखा कचरा निकला। वहीं नगर निगम ने स्थल को 8 सेक्टर में बांटकर 700 कर्मचारी लगाए और तीन घंटे में पूरे स्थल की सफाई कर दी। नोडल अधिकारी राकेश शर्मा ने बताया कि दोपहर 3 बजे से सफाई शुरू हुई और शाम 6 बजे तक पूरा कचरा साफ कर दिया गया। इस दौरान लगभग 80 टन कचरा एकत्रित किया गया। इसे 30 डंपर में भरकर खंती भेजा गया।
पीएचई के सब इंजीनियर वसीउद्दीन ने बताया कि सीवेज ट्रीटमेंट के लिए पांच किमी लंबी लाइन बिछाई गई। आक्सीटेशन पॉण्ड में इसे कलेक्ट कर ट्रीट किया गया। इसके लिए विशेष कल्चर का इस्तेमाल हुआ। पीएचई ने 52 ट्यूबवेल लगाए। 18 किमी पानी की लाइन बिछाई।