मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान मंगलवार को नगरीय क्षेत्रों की अवैध कालोनियों को वैध करने ‘भवन अनुज्ञा’ वितरण कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि रहवासी कॉलोनियों के माथे पर लगे अवैध के कलंक को मिटाने की प्रक्रिया आज से प्रारंभ हो गई है। इन कॉलोनियों को अवैध ठहराने का निर्णय ही अवैध है, इस निर्णय को मैं समाप्त करता हूं। राज्य शासन के इस महत्वपूर्ण निर्णय से मध्यप्रदेश में 6 हजार से अधिक अवैध कॉलोनियां नियमित हो जाएंगी। चौहान ने वैध की गई कालोनियों के रहवासियों को भवन अनुज्ञा प्रमाण पत्र का वितरण कर उन्हें शुभकामनाएं भी दीं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में अब अगर कोई अवैध कॉलोनी निर्मित हुई तो इसके लिए विभागीय अफसर भी जिम्मेदार होंगे। सीएम ने यह भी घोषणा की कि खरीदी-बिक्री के लिए अब विकास शुल्क नहीं लिया जाएगा। नियमित कालोनियों के विकास के लिए अलग से राशि उपलब्ध कराई जाएगी। बिजली, पानी जैसी अधोसंरचनाओं के कार्य किए जाएंगे। भवन अनुज्ञा, अनुमतियां मिलेंगी और बैंक लोन की पात्रता भी मिलेगी।
सीएम ने कहा कि सभी कालोनियों में रहवासी संघ का गठन होगा, जिससे सरकार मदद कर सकें। स्वच्छता का भी विशेष ध्यान रखें। गलत नक्शे मकानों को भी वैसे ही स्वीकार किया जाएगा, ऐसे मकान न तोड़े जाएंगे न कार्रवाई होगी। शिवराज ने कहा कि हर एक का सपना होता है कि जीवन में उसका भी एक मकान हो, रोटी, कपड़ा और मकान जीवन की जरूरत है। मकान बाने के लिए जिंदगीभर की कमाई खर्च कर देते हैं। बिल्डर गलती से प्लान खरीदने वाले या मकान बनाने वाले को समस्या क्यों हो। इस मौके पर नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह ने कहा कि वर्षों से लोग अवैध कालोनियों में रह रहे थे। सीएम ने सात हजार कालोनियों को वैध करने का काम किया।