1986 बैच के आईएएस अधिकारी दीपक उप्रेती को सरकार ने राजस्थान लोक सेवा आयोग का अध्यक्ष नियुक्त किया है। वे मौजूदा समय अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह, होमगार्ड जेल और मुख्य सतर्कता अधिकारी पद पर कार्यरत हैं। वे इसी वर्ष अक्टूबर में सेवानिवृत्त होंगे। ऐसे में वे तकनीकी प्रक्रिया पूरी कर अध्यक्ष पद संभालने के लिए रिलीव होंगे। संभवत: सोमवार-मंगलवार या इसके बाद वे पदभार संभाल सकते हैं। मालूम हो कि आयोग में 1 मई को डॉ. राधेश्याम गर्ग का कार्यकाल खत्म होने के बाद से अध्यक्ष पद रिक्त था।
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आरएएस प्री परीक्षा अहम
आरएएस एवं अधीनस्थ सेवाएं (संयुक्त प्रतियोगी परीक्षा सीधी भर्ती)-2018 आयोग के लिए अहम है। इसको देखते हुए नवनियुक्त अध्यक्ष उप्रेती को भी कई चुनौतियों से जूझना पड़ेगा। आयोग ने 5 अगस्त को आरएएस प्रारंभिक परीक्षा-2018 कराने तय किया है। आयोग को 5.10 लाख से ज्यादा आवेदन भी मिल चुके हैं। लेकिन आयोग में अंदरूनी स्तर पर परीक्षा की तैयारियां अधूरी हैं। प्रदेश के लाखों अभ्यर्थियों को परीक्षा पर फैसले का इंतजार है। अधूरी तैयारियों के बीच परीक्षा कराना चुनौती से कम नहीं है। ऐसे में उप्रेती को पदभार संभालते ही परीक्षा को लेकर स्थिति साफ करनी होगी।
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यह परीक्षाएं भी अहम आयोग ने 2 सितम्बर को माध्यमिक शिक्षा विभाग के लिए प्रधानाध्यापक प्रतियोगी परीक्षा-2017 कराना तय किया है। इसके लिए 97 हजार 596 आवेदन मिले हैं। इसी तरह उप निरीक्षक (पुलिस) प्रतियोगी परीक्षा-2016 का आयोजन 7 अक्टूबर को होना है इसमें 4 लाख 66 हजार 282 अभ्यर्थी शामिल होंगे। इन परीक्षाओं के नियत तिथि पर आयोजन को लेकर आयोग को तत्काल फैसला करना होगा।
चुनौतियां…… आयोग की सबसे प्रतिष्ठित आरएएस एवं अधीनस्थ भर्ती परीक्षा-2018 पर फैसला लेना है। यह तय है, कि परीक्षा 5 अगस्त को नहीं होगी। इसकी पेपर छपाई और अन्य कामकाज किए जाने हैं। आयोग के लिए सबसे अच्छी बात यह है, कि उप्रेती करीब सवा दो साल अध्यक्ष रहेंगे। उनका कार्यकाल पूर्व अध्यक्ष श्याम सुंदर शर्मा और डॉ. राधेश्याम गर्ग की तरह अल्प कार्यकाल नहीं है। ऐसे में वे नियमित भर्ती परीक्षाएं कराने के अलावा परिणाम जारी कर सकेंगे।