भीषण गर्मी में भी यहां लोग कंबल ओढकर सोने को हैं मजबूर, जानें इसकी सच्चाई
नई दिल्ली। अप्रैल का महीना अभी शुरू ही हुआ है कि गर्मी से लोगों का हाल बेहाल है। हालांकि आज हम आपको जिस गांव के बारे में बताने जा रहे हैं वहां भीषण गर्मी में भी लोग बिना एसी या कूलर के आराम से रहते हैं। हम यहां जिस गांव की बात कर रहे हैं वह चाइना के हेनान प्रदेश के सानमेनशिया इलाके में स्थित है।
200 साल पुराने इस प्राचीन गांव में लोग जमीन के अंदर घर बनाकर रहते हैं। इन घरों को स्थानीय भाषा में ‘इयायोडंग’ कहते हैं। सर्दियों में इन घरों का तापमान 10 डिग्री सेल्सियस और गर्मियों में ज्यादा से ज्यादा 20 डिग्री सेल्सियस रहता है। यानि कि गर्मियां इन कमरों में आराम से कट जाती है।
प्राचीन इस गांव के बारे में ऐसा कहा जाता है कि किसी जमाने में यहां करीब 20 हजार लोग रहते थे, लेकिन आधुनिक सुविधाओं के अभाव में लोगों को यह स्थान छोड़ना पड़ा। हालांकि अभी भी यहां लगभग 3 हजार लोग रह रहे हैं।
यहां ऐसे 10 हजार घर हैं जिनका निर्माण जमीन से करीब 22-23 फुट नीचे गहराई में किया गया है। इस वजह से भूकंप में भी इन घरों का कुछ नहीं बिगड़ सकता। साल 2011 से स्थानीय प्रशासन की ओर से इस गांव को संरक्षण प्रदान किया गया। अब तो यहां बिजली सहित और भी कई सुविधाएं हैं।
अब तो पर्यटन की दुष्टि से भी इनका उपयोग किया जा रहा है। पर्यटक चाहे तो अब इन कमरों को आकर रह भी सकते हैं। यहां रहने के लिए एक महीने का किराया 21 यूरो है यानि कि इंडियन करेंसी के हिसाब से 1621 रुपये और अगर कोई इसे खरीदने की चाह रखता है तो उसे 32 हजार यूरो यानि कि करीब 25 लाख रुपये की कीमत चुकानी पड़ेगी।
दूर-दराज से आने वाले टूरिस्ट 33-39 फुट की लंबाई वाले इन कमरों में प्रचंड गर्मी में भी कंबल ओढकर सो सकते हैं।