दो माह पहले शुरू हुई कवायद
सांसद डॉ. मन्नालाल रावत ने लोकसभा में शपथ ग्रहण करने से तीन दिन पूर्व 20 जून को केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी से मुलाकात कर हाइवे की समस्या बताई थी। राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या-27 एवं राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या-48 में कुछ स्थान दुर्घटना की दृष्टि से ब्लैक स्पॉट होने और उनके तत्काल समाधान की जरुरत बताई थी। सांसद रावत ने केंद्रीय मंत्री को लिखे पत्र में ब्लैक स्पॉट का विवरण भी दिया था।महीने में 15 हादसे, 5 से ज्यादा मौतें
उदयपुर-पिंडवाड़ा हाइवे पर आए दिन हादसे होते हैं। अनुमानित हर माह 15 से अधिक हादसे होते हैं, जिनमें 5 से अधिक लोगों की मौतें होती है। उदयपुर से जुड़ने वाले नेशनल हाईवे मार्गों में से सर्वाधिक हादसे वाला मार्ग उदयपुर-पिंडवाड़ा नेशनल हाइवे को माना जाता है। यहां सभी दुर्घटना संभावित मार्ग को व्यापक जनहित, जन एवं यात्रियों की सुरक्षा के मद्देनजर तत्काल सुधरवाने की जरुरत सांसद ने बताई थी। केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्रालय ने उदयपुर-पिंडवाडा नेशनल हाईवे-27 पर सड़क सुधार के लिए राशि स्वीकृत कर बड़ी राहत दी है।यहां बताए गए ब्लैक स्पॉट
1- गोगुंदा गांव के निकट।2- जामुडिय़ा की नाल।
3- जगालिया मोड (गोगुंदा)।
4- पिका-बेकरिया मार्ग। यह भी पढ़ें – Rajasthan News : राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम की नई व्यवस्था, बसों की चेकिंग के वक्त होगी वीडियोग्राफी