मैंने भाजपा कार्यकर्ता के तौर पर पार्टी में कई वर्षों तक सेवा की। गत दिसम्बर, 2020 के पंचायत चुनावों में मैंने भाजपा से पंचायत समिति सदस्य का चुनाव लड़ा व जीता। इसके बाद मुझे पूर्व विधायक ने प्रधान बनाने को कहा। मुझे कहा- 27 लाख रुपए लगेगा। मैंने पद मिलने की आस में मित्रों व रिश्तेदारों से उधार लेकर 27 लाख रुपए की व्यवस्था की और अज्ञानतावश पार्टी का नियम समझकर हरि सिंह रावत को यह पैसा दे दिया। बाद में पता चला कि भाजपा का कोई नियम नहीं है, बल्कि भाजपा तो नियम व सिद्धांतों पर चलने वाली पार्टी है। हरि सिंह ने यह राशि मुझसे भ्रष्टाचार व धोखा करते हुए ली। मैंने कई बार उनसे राशि लौटाने को कहा, पर हर बार मेरी बात को नजरअन्दाज किया। मैंने परेशान होकर सांसद दीया कुमारी को गत 29 मई को ब्यावार में उनके प्रवास के दौरान मिलकर व्यथा बताई एवं एक पत्र भी दिया। पार्टी का कर्मठ कार्यकर्ता होने के नाते मुझे 27 लाख रुपए दिलाएं। हरि सिंह को पार्टी से निष्कासित करें। मुझ पार्टी की रीति-नीति व सिद्धांतों पर पूरा भरोसा है।
पूर्व विधायक हरि सिंह ने मुझसे 30 लाख रुपए मांगे थे। मैंने किसी तरह जुटाकर 27 लाख दिए। मुझे अब जाकर पता चला है कि जिन पंचायत समिति सदस्यों व ऊपर पहुंचाने के नाम से पैसे लिए, उन तक तो पहुंचे ही नहीं। अब मैं उधारी लाकर फंस चुका हूं। मुझे पैसा चाहिए।
बीरम सिंह, प्रधान, पंचायत समिति, भीम
हरि सिंह रावत, अध्यक्ष एवं पूर्व विधायक, मगरा विकास बोर्ड
दीया कुमारी, सांसद, राजसमन्द
वीरेन्द्र पुरोहित, भाजपा जिलाध्यक्ष, राजसमंद