विंध्याचल में करीब 300 करोड़ की लागत से विंध्य कारीडोर के निर्माण के लिए कोतवाली रोड पर मकानों के आंशिक रजिस्ट्री के साथ ही ध्वस्तीकरण का कार्य किया जा रहा है। आबादी के इलाके में मकान और दुकानों के तोड़े जाने के दौरान उड़ने वाली धूल लोगों के लिए मुसीबत बन गई है। मलबा हटाने में शिथिलता बरते जाने से लोगों के दरवाजों और गलियों तक फैला मलबा आवागमन में भी बेहद दिक्कत बन रहा है। लोगों का कहना है कि मलबे के ढेर से होकर गुजरना किसी समस्या से कम नहीं। कार्य का निरीक्षण करने पहुंचे विंध्याचल मंडल कमिश्नर योगेश्वराम मिश्र ने कहा कि कोरोना के चलते मलवा हटाने के कार्य में देरी हुई है। जिसे जल्द ही पूरा कर लिया जाएगा।
बता दें कि विंध्याचल कोतवाली मार्ग को करीब 30 फीट चौड़ा करने के लिए मकान और दुकानों का आंशिक अधिग्रहण किया गया है। लोगों के मकानों के कुछ हिस्से का ध्वस्तीकरण हो रहा है तो उसके एक हिस्से में परिवार रह रहे हैं। कार्य में शिथिलता बरते जाने कारण गलियों में पसरे मलबा मुसीबत बन गया है। एक स्थानीय अभिनव मिश्र का कहना है कि मलवा और धूल लोगों के लिये मुसीबत बन चुके हैं।