दरअसल, हापुड रोड पर सिटी हास्पिटल के पास उग्र भीड़ को काबू करने के लिए पुलिस ने जैसे ही आगे बढना शुरू किया। भीड़ ने पथराव कर पुलिस को पीछे हटने के लिए मजबूर कर दिया। इसी बीच सीओ कोतवाली दिनेश चंद्र शुक्ला ने हाथ में बंदूक लेकर उसको लोड कर आगे बढना शुरू कर दिया। उनके साथ मात्र चार-पांच पुलिस के जवान ही हौसला दिखा सके। इसके बाद उन्होंने हवाई फायरिंग करनी शुरू कर दी।
बता दें कि शाही मस्जिद में तकरीर के दौरान शहर काजी ने नागरिकता संशोधन कानून को गलत करार दिया। यहां पर जुमे की नमाज के दौरान बड़ी संख्या में लोग काली पट्टी बांधकर आए थे। शहर काजी ने तकरीर के दौरान सीएए का शांतिपूर्ण ढंग से विरोध जताने की अपील की है। कोतवाली थाने के सामने नमाज करके लौट रहे लोगों ने प्रदर्शन और नारेबाजी शुरू कर दी। करीब 3:30 बजे लोगों ने वहां पर तोड़फोड़ शुरू कर दी। जिसके चलते पुलिस को भी भीड़ को खदेड़ने के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा। डीएम, एसएसपी मौके पर पहुंचे। भीड ने दोनों अधिकारियों को चारों ओर से घेरकर पथराव शुरू कर दिया। पुलिस को भीड़ को खड़ने के लिए लाठी चार्ज और गोलियां चलानी पड़ी। बाद में हालात को नियंत्रित कर लिया गया।
इसके साथ ही मेरठ में खत्ता रोड पर पुलिस और भीड़ के बीच फायरिंग हो गई। पुलिस की गाड़ियों पर पथराव भी किया गया। भूमिया के पुल के पास नारेबाजी कर रही भीड़ को पुलिस ने खदेड़ दिया। परीक्षितगढ़ के पास प्रदर्शन और नारेबाजी की सूचना है। जामा मस्जिद के बाहर एकत्रित भीड़ साढ़े तीन बजे के करीब शहर की ओर चल पड़ी थी। उग्र भीड़ ने अचानक वाहनों में तोड़फोड़ शुरू कर दी। कुछ इमारतों के शीशे भी तोड़ दिए। मीडिया फोटोग्राफरों के कैमरों को भी तोड़ दिया। यहां पर दर्जनों वाहनों में तोड़फोड़ की गई। वरिष्ठ अफसरों मौके पर पहुंचे। कई इलाकों में अनियंत्रित भीड़ ने पुलिस पर पथराव कर दिया। वहीं पुलिस को भी भीड़ पर काबू पाने के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा। एसएसपी अजय साहनी ने बताया कि जिले में स्थिति नियंत्रण में है। कुछ लोगों ने माहौल बिगाड़ने की कोशिश की थी जिनको काबू में कर लिया गया है। किसी को कानून हाथ में नहीं लेने दिया जाएगा।