– नरेंद्र सिंघवी, प्रभारी, बस सर्विस, नगर निगम, जोधपुर
सभी रूट पर चल रहीं बसें ३५ बसें हैं। सभी रूट पर चल रही हैं। ४ बसें वर्कशॉप पर हैं। सभी रूट पर गाडि़यां चल रही हैं। मैं तो जोधपुर स्मार्ट सिटी बने, इसलिए गाडि़यां चला रहा हूं। जबकि यहां अहमदाबाद की बड़ी कम्पनी ने १५ व ३१ करोड़ मांगे थे। मेरा रोज का खर्च २.५० लाख है। मुझे वापस १.५० लाख भी नहीं मिल रहे। एक रूट इसलिए बंद किया कि उसकी गाडि़यां अन्य रूट पर लगाई गई हैं। बोर्ड मीटिंग में परमिट संशोधन किया था। जीपीएस सिस्टम है जिसकी निगम मॉनिटङ्क्षरंग रखता है।
-प्रवीण पंवार, लक्ष्मी ट्रैवल्स, जोधपुर मुझे भी शिकायत मिली है
जीपीएस की जो रिकॉर्डिग होती है, वह बाद में चेक की जा सकती है। मुझे भी शिकायत मिली है। मैंने रिकॉर्डिंग चेक करने के आदेश दिए हैं। अगर बसें डिपो में खड़ी हैं तो गलत है। बसें खराब हैं तो कम्पनी की ओर से अपनी ओर से नई बसें लगाने का नियम है। इसके लिए पैनल्टी वसूल की जाएगी।