Jaipur News: जिले के खोह नागोरियान थाना इलाके के नूर नगर लूनियावास से बुधवार को लापता हुए बालक का शव 27 घंटे बाद गुरुवार को 200 मीटर दूर खड़ी एक कार में मिला। कार के अंदर लॉक लगा हुआ था। पुलिस ने लॉक खुलवाकर बच्चे के शव को बाहर निकाला। सूचना पर पहुंची एफएसएल ने मौके से साक्ष्य जुटाए। प्राथमिक जांच में बच्चे की दम घुटने से मौत बताई जा रही है।
डीसीपी (पूर्व) तेजस्विनी गौतम ने बताया कि बुधवार को नूर नगर लूनियावास निवासी शाहिद के बेटे अल्फेज (5) के लापता होने की सूचना मिली थी। पुलिस गुरुवार को परिजन के साथ अल्फेज की तलाश कर रही थी तभी उसके भाई कैफ की नजर 200 मीटर दूर खड़ी गाड़ी पर पड़ी। उसने पास जाकर देखा तो कार में पीली शर्ट देखते ही वह चिल्लाने लगा कि इसमें मेरा भाई अल्फेज है। पुलिस ने जानकारी जुटाई तो गाड़ी मोहम्मद तौसिफ की निकली। पुलिस ने लॉक खुलवाकर शव को बाहर निकालकर जेएनयू अस्पताल के मुर्दाघर में रखवाया। पुलिस ने मेडिकल बोर्ड से पोस्टमार्टम करवाने के बाद शव परिजन को सौंप दिया।
फुटेज में खेलता हुआ दिखा
पुलिस ने आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों को चैक किया तो अल्फेज सुबह 11.57 बजे तक खेलता हुआ दिखाई दे रहा था। इसके बाद वह कुछ दूर जाता हुआ दिखाई दिया। लेकिन वापस आता हुआ नहीं दिखा। पुलिस ने परिजन के साथ बुधवार को भी बालक को तलाश किया था लेकिन वो कहीं नहीं मिला था।
गाड़ी के दोनों गेट खराब
पास में ही रहने वाले मोहम्मद तौसिफ की कार के दोनों गेट खराब हैं। लॉक भी काम नहीं कर रहा। इसके कारण उसने घर के पास ही कार खड़ी कर रखी थी। माना जा रहा है कि अल्फेज खेलते हुए वहां पहुंचा और कार में बैठ गया। दरवाजा जाम हो गया जिससे वह बाहर नहीं निकल पाया। गेट नहीं खुलने से वह कार में ही बेहोश हो गया और दम घुटने से उसकी मौत हो गई।
मजदूरी करके परिवार को पाल रही मां
अल्फेज का पिता शाहिद मूलतः फर्रुखाबाद उत्तर प्रदेश का रहने वाला है। पांच साल पहले वह पत्नी रेशमा को यहीं छोड़कर उत्तर प्रदेश लौट गया। रेशमा मजूदरी करके परिवार का भरण पोषण कर रही थी। अल्फेज के जाने के बाद बेटा कैफ और बेटी रोशनी रह गए हैं। कैफ छठी कक्षा में पढ़ता है, जबकि रोशनी आठवीं में पढ़ती है।