VIDEO: कुंभ की तर्ज पर होगी कांवड़ यात्रा, आतंकियों से सुरक्षा के लिए हेलीकॉप्टर व ड्रोन के साथ तैनात होंगे स्नाइपर
खबर के मुख्य बिंदु-
इंडिया एक्सपो सेंटर एंड मार्ट में प्रेस वार्ता के दौरान प्रदेश के मुख्य सचिव अनूप चंद पांडेय और डीजीपी ओपी सिंह ने दी जानकारी
कांवड़ियों की सुरक्षा के लिए यूपी पुलिस के 8 हजार जवानों के अलावा, रैपिड एक्शन फोर्स, पीएसी के जवान भी रहेंगे तैनात
कांवड़ यात्रा मार्ग पर पड़ने वाली शराब और मीट की सभी दुकानों को रखा जाएगा बंद
VIDEO: कुंभ की तर्ज पर होगी कांवड़ यात्रा, आतंकियों से सुरक्षा के लिए हेलीकॉप्टर व ड्रोन के साथ तैनात होंगे स्नाइपर
ग्रेटर नोएडा. सावन के पवित्र माह में होने वाली कांवड़ यात्रा को सुरक्षित और शांतिपूर्ण संपन्न कराने के लिए प्रदेश सरकार ने सभी तैयारियां पूरी कर ली हैं। इसके लिए दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान और उत्तराखंड के अफसरों के साथ पहले ही बैठक कर ली गई है। अधिकारियों ने बताया कि सरकार ने फैसला किया है कि इस बार कांवड़ मेले को कुंभ मेले की तर्ज पर संपन्न कराया जाएगा। 17 जुलाई से शुरू होने वाली कांवड़ यात्रा को सुरक्षित बनाने के लिए जमीन से आसमान तक सुरक्षा व्यवस्था की जाएगी। इस बार कांवड़ियों की सुरक्षा और आतंकी गतिविधियों पर प्रभावी अंकुश लगाने के लिए हेलीकाॅप्टर और ड्रोन के साथ ही स्नाइपर्स की भी तैनाती की जाएगी। यह जानकारी इंडिया एक्सपो सेंटर एंड मार्ट में हुई प्रेस वार्ता के दौरान उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव अनूप चंद पांडेय और डीजीपी ओपी सिंह ने दी।
डीजीपी ओपी सिंह ने बताया कि कुछ दिन पहले ही दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान और उत्तराखंड के अफसरों के साथ अंतरराज्यीय स्तर पर बैठक की गई है। उनकी प्राथमिकता कांवड़ यात्रा को सुखद और सुरक्षित बनाना है। उन्होंने बताया कि कांवड़ियों की सुरक्षा के लिए 8 हजार पुलिसकर्मियों को तैनात किया जाएगा। पूरे कांवड़ मार्ग पर निगरानी के लिए हेलीकाॅप्टर की मदद ली जाएगी। साथ ही ड्रोन की भी तैनाती होगी, ताकि एरियल सर्विलांस हो सके। कांवड़ यात्रा के मार्ग पर सुरक्षा के मद्देनजर कंट्रोल रूम की स्थापना की जाएगी। उनकी कोशिश है कि इस बार रिस्पांस टाइम पिछले बार के मुकाबले और कम होगा। उन्होंने बताया कि 2017 में छोटी-बड़ी 36 घटनाएं हुई थीं। वहीं 2018 में सिर्फ 17 घटनाएं हुई। उनकी कोशिश है कि इस वर्ष इसे और कम करने की कोशिश होगी। उन्होंने बताया कि कांवड़ यात्रा के रास्ते में पड़ने वाली शराब और मीट की दुकानें बंद रहेंगी।
आतंकी गतिविधियों पर भी रहेगी सुरक्षा बलों की विशेष नजर डीजीपी ने बताया कि आतंकी गतिविधियों पर भी सुरक्षा बलों की विशेष नजर रहेगी। इसके लिए एटीएस की तैनाती की जाएगी। दो स्पॉट टीम मेरठ व मुजफ्फरनगर और सहारनपुर के बीच तैनात होंगी। यह पूरी तरह से मोबाइल रहेगी। इस बार कांवड़ यात्रा और कांवड़ मेले को सुरक्षित बनाने के लिए स्नाइपर्स को भी तैनात किया जाएगा। पिछली बार चार स्थानों पर आतंकियों को गिरफ्तार किया गया था। कुछ जगहों पर देखा गया था कि भीड़ को रौंदने के लिए वाहनों के इस्तेमाल की कोशिश की गई थी। इसलिए इस ओर भी उनकी कड़ी नजर रहेगी। उन्होंने बताया कि यूपी पुलिस के 8 हजार जवानों के अलावा, रैपिड एक्शन फोर्स, पीएसी के जवानों को भी तैनात किया जाएगा। सभी अफसर अलर्ट, मोबाइल और सेंसिटिव रहेंगे। वे डिजिटल इंफॉर्मेशन भी शेयर करेंगे। आईबी और अन्य सुरक्षा एजेंसियों से भी तालमेल बना रहेगा।
प्रत्येक पांच किलोमीटर पर तैनात रहेगी डायल-100 और रिस्पॉस टीम वहीं उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव अनूप चंद पांडेय ने बताया कि 17 जुलाई से सावन महीने की शुरुआत हो रही है। उसी के साथ कांवड़ यात्रा भी शुरू हो जाएगी। सावन के प्रत्येक सोमवार और 30 जुलाई को महाशिवरात्रि पर्व पर विशेष इंतजाम किए जाएंगे। कांवड़ यात्रा के मद्देनजर रविवार को हुई बैठक में हिमाचल प्रदेश, दिल्ली, उत्तराखंड, हरियाणा और राजस्थान के बड़े अफसर मौजूद थे। उन्होंने बताया कि बैठक में कांवड़ यात्रा की तैयारियों की समीक्षा की गई। इसमें सड़कें, साफ-सफाई, बिजली, पानी, ट्रैफिक डायवर्जन के साथ ही चिकित्सा व्यवस्था की तैयारियों के बाबत भी चर्चा की गई है। प्रत्येक पांच किलोमीटर पर डायल-100 और रिस्पॉस टीम तैनात रहेंगी।
टूटी सड़कों को बिना देरी के 18 जुलाई तक ठीक करने के निर्देश उन्होंने नेशनल हाइवे और पीडब्ल्यूडी के अफसरों के साथ ही स्थानीय निकाय के अफसरों को निर्देश दिए हैं कि वे मार्ग की टूटी सड़कों को बिना देरी के 18 जुलाई तक ठीक कर लें। यात्रा के दौरान ट्रैफिक को किस तरह डायवर्ट किया जाए, ताकि आम लोगों को दिक्कतें न हो, उस पर भी विस्तार से चर्चा की गई है। सिंचाई विभाग के अफसरों से गंग नहर की पटरियों के दुरुस्तीकरण को लेकर भी समीक्षा की गई है। साथ ही स्वास्थ्य विभाग के अफसरों के साथ भी चर्चा की गई कि कहां-कहां पर हेल्थ कैंप लगाए जाने हैं। एंबुलेंस की क्या व्यवस्था होगी और उनकी तैनात कहां-कहां होगी। बिजली विभाग को कहां कनेक्शन देने हैं। कहां बिजली के तार ढीले हैं, उन्हें तत्काल दुरुस्त करने के निर्देश दिए गए हैं। बैठक में नगर आयुक्तों के साथ भी सफाई और लाइटिंग पर चर्चा की गई।
कुंभ मेले की तर्ज ही कांवड़ मेले को संपन्न कराने का लक्ष्य इस दौरान मुख्य सचिव ने बताया कि मेले में तैनात होने वाले अफसरों को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपना व्यवहार मधुर रखें। उन्होंने बताया कि उनका और सरकार का संकल्प है कि कुंभ मेले की तर्ज ही कांवड़ मेले को भी सफलता से संपन्न कराएंगे। इसमें सामाजिक संगठनों की भी मदद ली जाएगी। बैठक में हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली, राजस्थाना और उत्तराखंड के अफसरों के साथ एडीजी प्रशांत कुमार, मेरठ की कमिश्नर अनिता सी मेश्राम, उत्तराखंड के एडीजी एडीजी लॉ एंड आर्डर के अलावा उत्तर प्रदेश की समावर्ती इलाकों में तैनात अफसर मौजूद थे।
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