इस पूरे मामले की जानकारी देते हुए रंजीता धामा ने बताया कि कुछ दिन पहले वह एक विकास कार्य का लोकार्पण करने के लिए गई थीं। उसी दौरान भाजपा विधायक ने सुनियोजित तरीके से अपने लोग खड़े किए हुए थे। आरोप है कि उनके द्वारा वहां काफी अभद्रता की गई। इतना ही नहीं, वहां पर लगा हुआ शिलापट भी तोड़ दिया गया। जिस पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का भी नाम लिखा हुआ था।
ऑडियो पेश लगाए गंभीर आरोप उन्होंने बताया कि उन्हें एक ऑडियो भी मिली है। जिसमें यह साफ होता है कि उन्हीं के द्वारा वह लोग भेजे गए थे। रंजीता धामा का यह भी आरोप है कि जब वह इसकी रिपोर्ट लिखवाने थाना ट्रोनिका सिटी पहुंचीं तो वहां पर भी कोई सुनवाई नहीं हुई। बहुत मुश्किल से 2 दिन बाद उनकी रिपोर्ट दर्ज की गई और जब विधायक को यह पता चला कि उनके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई गई है तो उनके द्वारा ही साजिश के तहत मेरे ऊपर 3 मुकदमे दर्ज करा दिए गए। जिसके बाद से वह और उनके पति मानसिक रूप से प्रताड़ित हो रहे हैं।
सीएम योगी की छवि धूमिल करने का भी आरोप रंजीता धामा का आरोप है कि भले ही विधायक अपने आप को मुख्यमंत्री के सामने ईमानदार छवि प्रस्तुत करने में जुटे हैं। लेकिन विधायक खुद ईमानदार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की छवि को धूमिल करने का कार्य कर रहे हैं। रंजीता धामा का कहना है कि उन्हें व उनके पति को विधायक नंदकिशोर गुर्जर से अपनी जान का खतरा है। उन्हें उचित न्याय दिलाते हुए विधायक के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाए।
विधायक बोले- सरकारी सुरक्षा के लिए लगाए जा रहे आरोप इन आरोपों को गलत बताते हुए विधायक नंदकिशोर गुर्जर ने एक वीडियो क्लिप जारी किया। जिसमें उन्होंने कहा कि नगर पालिक अध्यक्ष द्वारा मुझपर झूठे आरोप लगाकर सुरक्षा मांगी गई है। ये सब सरकारी सुरक्षा प्राप्त करने के लिए किया जा रहा है। उन्होंने आरोप लगाया है कि रंजीता के पति मनोज धामा के कार्यकाल में 300 करोड़ के कार्यों की जांच लोकायुक्त की ओर से की जा रही है। ये कार्रवाई सांसद के पत्र के आधार पर हुई है। इससे बचने के लिए रंजीता और उनके पति सरकारी सुरक्षा लेने के लिए इस प्रकार के आरोप लगा रहे हैं।