मायावती के बाद एक्शन में अखिलेश यादव, इस पार्टी के साथ मिलकर लड़ेंगे उपचुनाव, गठबंधन का किया ऐलान
चर्चाओं का बाजार गर्म आपको बता दें कि लोकसभा चुनाव में गठबंधन के बावजूद करारी हार के चलते समाजवादी पार्टी में उथल-पुथल के बीच कहा गया था कि मुलायम सिंह यादव ईद के दिन शिवपाल से मुलाकात करेंगे और उनकी वापसी को लेकर कोई बड़ी घोषणा भी करेंगे, लेकिन मुलायम का कोई कार्यक्रम न होने के कारण यह मुलाकात मात्र अफवाह तक ही सीमित रह गई। दरअसल सपा के बड़े नेताओं का मानना है कि लोकसभा चुनाव में करारी हार के पीछे शिवपाल फैक्टर भी कारगर रहा है और रामगोपाल यादव कमजोर पड़ते दिख रहे हैं। यहां तक कि फिरोजाबाद लोकसभा सीट से रामगोपाल यादव के बेटे अक्षय यादव के हारने के पीछे की वजह भी शिवपाल ही रहे।शिवपाल के समर्थकों में चिंता सपा में शामिल होने के सवालों से शिवपाल सिंह के बचने की एक और वजह भी है। जानकारी के मुताबिक उनकी नवगठित प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया के पदाधिकारियों की ओर से इस बात के लिए इंकार किया गया है। प्रसपा के पदाधिकारियों के मुताबिक अगर सपा से गठबंधन या फिर विलय कर लेते हैं, तो फिर उनके समर्थकों और प्रशंसकों का क्या होगा। शिवपाल के समर्थकों को इस बात की भी चिंता सता रही है कि अगर वह सपा में हिस्सेदारी करने जा पहुंचते हैं तो ऐसी स्थिति में उनकी नवगठित प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया का क्या होगा।