रेलवे लंबी दूरी की रेलगाड़ियों में स्लीपर कोच की संख्या में कटौती करने के साथ ही अब एसी इकोनॉमिकल श्रेणी के कोच लगाने की शुरुआत कर चुका है। इन कोच का किराया स्लीपर कोच के मुकाबले 40 फीसदी तक ज्यादा रहेगा, लेकिन सामान्य एसी कोच के मुकाबले 10 फीसदी कम रखा गया है। भोपाल रेल मंडल द्वारा अभी तक 45 यात्री ट्रेनों में लगभग 111 एसी इकोनॉमी श्रेणी के कोच लगाए जा चुके हैं।
विकल्प बनेगा एसी इकोनॉमी कोच:
होली के अवकाश में स्लीपर कोच में भीड़़ को देखते हुए रेलवे ने इनके विकल्प के तौर पर एसी इकोनॉमी कोच तैयार करने शुरु कर दिए थे। गर्मियों के अवकाश के चलते स्लीपर कोच में इन दिनों लंबी वेटिंग का दौरा शुरु होने लगा है।
इन ट्रेनों में बदले गए कोच
भोपाल मंडल से गुजरने वाली लंबी दूरी की ट्रेनों में शामिल गरीब रथ, कोयंबटूर एक्सप्रेस, जीटी, केरल, प्रतापगढ़, जम्मूतवी, लखनऊ-पुणे सहित भोपाल रेल मंडल से गुजरने वाली 45 ट्रेनों में 111 एसी इकोनॉमी के कोच एक साल में अब तक लगाए जा चुके हैं। जैसे-जैसे इनका प्रोडक्शन बढ़ रहा है, उसी तरह से ट्रेनों में बढ़ाई जा रही है। ऐसे ही यह कोच लगातार बढ़ाए जाते रहे तो अगले तीन साल में ट्रेनों में जनरल कोच की संख्या नाम के लिए ही रह जाएगी। जिन ट्रेनों में 12 स्लीपर श्रेणी के कोच लगाए जाते उनकी संख्या भी पचास फीसदी तक घटाई जा रही है।
एसी इकोनॉमी कोच बढ़ाने का निर्णय केंद्रीय स्तर पर लिया गया है। इससे यात्रियों को भीषण गर्मी में थोड़ा ज्यादा किराया देकर आरामदायक यात्रा करने का अवसर मिलेगा।
-सौरभ बंदोपाध्याय, डीआरएम