जिले के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल महात्मा गांधी चिकित्सालय में वैकल्पिक व्यवस्था के तौर पर आयुर्वेद डॉक्टरों के साथ ही 31 डॉक्टरों ने यथावत सेवाएं दी। इससे मरीजों को ज्यादा परेशानी नहीं हुई। सेवारत संघ पदाधिकारियों के स्थानांतरण की कार्रवाई से नाराज डॉक्टर हड़ताल पर है। सरकार ने डॉक्टरों से सख्ती से निपटने के लिए निर्देश दिए। वहीं हाईकोर्ट ने डॉक्टरों को काम पर लौटने को कहा है। साथ ही उन्हें गिरफ्तार करने की बजाए सुरक्षा मुहैया कराते हुए राहत प्रदान की है। एेसे में भूमिगत हुए डॉक्टरों के पुन: काम पर लौटने के आसार दिख रहे है। डॉक्टरों के हड़ताल पर चले जाने से सबसे ज्यादा असर ग्रामीण क्षेत्र की चिकित्सा व्यवस्था पर पड़ा है। ग्रामीणों को न सीएचसी व पीएचसी पर इलाज मिल रहा है और न पास के कस्बों के सरकारी अस्पतालों में चिकित्सा मिल रही है।
डॉक्टरों के हड़ताल पर जाने से एकबारगी चिकित्सा व्यवस्था प्रभावित हुई है। जिससे गांवों में ज्यादा असर देखने को मिला। निपटने के लिए हमने वैकल्पिक व्यवस्था की है, ताकि मरीजों को तकलीफ नहीं हो। गांवों में इमरजेंसी के दौरान मरीजों को जिला अस्पताल में रैफर किया जा रहा है।
डॉ. जेसी जीनगर, सीएमएचओ