यह है मामला आपको बता दें कि जौला, थाना बुढ़ाना, मुजफ्फरनगर निवासी इमलाकुर्ररहमान पुत्र यामीन शनिवार की शाम को मेरठ के सरधना की एक मस्जिद से वापस घर लौट रहे थे। आरोप है कि बागपत के दोघट थाना क्षेत्र के सरौरा गांव के निकट 10-12 युवकों ने उनके साथ मारपीट की। इमाम ने आरोप लगाया था कि उनके साथ अभद्र व्यवहार भी किया गया। उन पर जबरन जय श्री राम कहलवाने का दबाव बनाया गया। साथ ही उनकी दाढ़ी भी नोच ली गई। इमाम की तहरीर पर दोघट थाने में मुकदमा दर्ज कर लिया था।
आरोपियों से पूछताछ में यह आया सामने सोमवार को पुलिस ने नगवा गांव में दबिश देकर उत्तम, पंकज और आजाद को हिरासत में ले लिया है। सीओ रमाला अनुज चौधरी ने पूछताछ की तो मामला कुछ और निकला। सीओ रमाला के अनुसार, पकड़े गए युवकों ने बताया कि वे सरौरा के निकट ट्रैक पर दौड़ लगाकर घर जाने के लिए सड़क पार कर रहे थे। इस दौरान इमाम की बाइक उनसे टकरा गई। इस पर उन्होंने इमाम को देखकर बाइक चलाने को कहा। बात बढ़ने पर उन्होंने इमाम की गर्दन पर एक हल्का-सा हाथ मार दिया था। इमाम ने कपड़े से अपना मुंह भी ढक रखा था। उन्हें यह भी नहीं पता था कि वह किस जाति या धर्म का है। आरोपियों की पहचान कराने के लिए इमाम को बुलाया जा रहा है लेकिन वह थाने नहीं पहुंच रहे।
एसपी ने कहा- कोई धार्मिक मामला नहीं इस बारे में एसपी बागपत शैलेश कुमार पांण्डेय का कहना है कि इस मामले में जांच में पता चला है कि इमाम दोघट से पहले बुढ़ाना थाने में शिकायत करने गए थे। वहां उन्होंने ऐसी कोई बात नहीं की। उन्होंने बुढ़ाना थाने में केवल मरपीट की बात कही थी। फिर भी मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है। प्रथम दृश्टया इस मामले में कोई भी धार्मिक एंगल नहीं है। यह केवल मारपीट का मामला है। आरोपियों की पहचान कर ली गई है।
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