यह भी पढ़े:-ओमप्रकाश राजभर ने बताया कि कैबिनेट मंत्री पद से क्यों हटाया गया, मंत्री को मिलने वाली सुविधा का किया खुलासा
बुलंदशहर में जब भीड़ ने इंस्पेक्टर सुबोध सिंह की हत्या कर दी थी तो वहां की स्थिति बेहद तनावपूर्ण हो गयी थी। ऐसे में सीएम योगी आदित्यनाथ सरकार को समझ नहीं आ रहा था कि किस अधिकारी को वहा पर भेजा जाये। यूपी सरकार ने घटना के बाद तत्कालीन एसपी केबी सिंह को हटा कर प्रभाकर चौधरी को पुलिस अधीक्षक बनाया था और एसपी प्रभाकर चौधरी ने दोषियों पर कार्रवाई करने के साथ स्थिति को सुधारा था। सोनभद्र में उम्भा नरसंहार के बाद यूपी सरकार को जमकर किरकिरी हुई थी। प्रियंका गांधी से लेकर अखिलेश यादव व मायावती तक ने सरकार पर हमला बोला था। प्रदेश सरकार ने स्थिति संभालने की जिम्मेदारी प्रभाकर चौधरी को दी थी और उन्हें एसपी बना कर भेजा था। पीएम नरेन्द्र मोदी का संसदीय क्षेत्र बनारस वीवीआईपी क्षेत्र माना जाता है यहा पर ताबड़तोड़ क्राइम से यूपी सरकार बैकफुट पर आ गयी थी। अपराध पर लगाम लगाने की जिम्मेदारी फिर से प्रभाकर चौधरी को सौपी गयी है और उन्हें प्रमोशन देकर बनारस का एसएसपी बनाया गया है जबकि यहां पर एसएसपी रहे आनंद कुलकर्णी को हटा कर लखनऊ भेजा गया।
यह भी पढ़े:-तीन मकान व जमीन, फिर भी परिस्थिति से हार गया यह परिवार
सीएम योगी आदित्यनाथ सरकार ने एक तीर से दो निशाना साधा है। सोनभद्र के एसपी रहे प्रभाकर चौधरी के खिलाफ बीजेपी कार्यकर्ता आंदोलन कर रहे थे जिससे सरकार पर दबाव बड़ा रहा था। सीएम योगी आदित्यनाथ सरकार ने प्रभाकर चौधरी को बनारस का एसएसपी बना कर कार्यकर्ताओं की नाराजगी दूर कर दी है। बीजेपी कार्यकर्ता को लगा कि हमारे दबाव में पुलिस कप्तान का तबादला किया गया है जबकि कानून की रक्षा करने वाले अधिकारी को प्रमोशन देकर सरकार ने मनोबल टूटने नहीं दिया।
यह भी पढ़े:-मुन्ना बजरंगी मर्डर से जुड़ रहे थे इस बस संचालक की हत्या के तार, गैंगवार की आशंका से उड़ी है पुलिस की नीद!