उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने भगवान बिरसा मुंडा को किया याद, कहा- उनके कार्य अकल्पनीय
Bhagwan Birsa Munda 150th Birth Anniversary : उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कोटड़ा में भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित जनजाति गौरव महोत्सव में हिस्सा लिया। उपराष्ट्रपति ने भगवान बिरसा मुंडा ने देश की आजादी, जनजाति और मिट्टी के लिए जो किया वो अकल्पनीय है।
Bhagwan Birsa Munda 150th Birth Anniversary : उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कहा भगवान बिरसा मुंडा ने देश की आजादी, जनजाति और मिट्टी के लिए जो किया वो अकल्पनीय है। 15 नवम्बर को हर वर्ष बिरसा मुंडा की जन्म जंयती, राष्ट्रीय जन जातीय दिवस के रूप में मनाया जाता है। अमृत काल में हमने अमृत को पहचाना है। हमने उनका सम्मान शुरू कर दिया है। आप सभी को मेरा आह्वान होगा कि आप संकल्प लें, इस महापुरुष को समझे, इसके कृत्य को आदर्श माने और हमेशा राष्ट्रवाद को सर्वोपरि रखे। उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ शनिवार उदयपुर पहुंचे। जहां से वे कोटड़ा में होने वाले भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के उपलक्ष्य में जनजाति गौरव महोत्सव में शामिल हुए।
उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने कहा आप से ज्यादा इस धरती का पुजारी कौन है? आप से ज्यादा पर्यावरण का हितैषी कौन है? मेरा मन अति प्रसन्न है कि अब मेरा भारत बदल रहा है। देश के सबसे बड़े पद पर, राष्ट्रपति के पद पर, आज के दिन जनजाति की महिला विराजमान है, द्रौपदी मुर्मु जी। यह सम्मान किसी की बख्शीश नहीं है, यह हमारा और आपका अधिकार है। उस अधिकार को प्राप्त किया है और पद को सुशोभित किया है।
उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने आगे कहा आप किसी भी हालत में विभाजनकारी ताकतों को बढ़ावा न दें। राष्ट्र की एकता, परिवार की एकता, समाज की एकता, समाज में समरसता, नागरिक का दायित्व है। ये हमारा धर्म है।
मां की स्मृति में उपराष्ट्रपति और उनकी पत्नी ने किया पौधारोपण
इस अवसर पर उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने वनवासी कल्याण परिषद कोटड़ा के परिसर में अपनी मां स्व केसरीदेवी की स्मृति में पौधारोपण किया। उपराष्ट्रपति की धर्मपत्नी डॉ सुदेश धनखड़ ने भी मां भगवतीदेवी की स्मृति में पौधारोपण किया।
गवरी लोकनृत्य कलाकारों का बढ़ाया हौसला
इस अवसर पर उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने गवरी लोकनृत्य कलाकारों का बढ़ाया हौसला। कमली ट्राइब्स और वनवासी कल्याण परिषद एवं राजीविका वन धन विकास केंद्र की स्टॉल्स का किया अवलोकन। लोक कलाकारों से परंपरागत ढोल लेकर थाप दी। कलाकारों के साथ फोटो भी खिंचवाया। वनांचल के उत्पादों को देखकर खुशी जताई। जनजाति महिलाओं द्वारा तैयार हस्तशिल्प के सौंदर्य की तारीफ की।
मोहनलाल सुखाड़िया स्मृति व्याख्यान में भी गए उपराष्ट्रपति
जनजाति गौरव महोत्सव में हिस्सा लेने के बाद उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ मोहनलाल सुखाड़िया स्मृति व्याख्यान में पहुंचे। वे सामोर बाग भी पहुंचे, जहां उन्होंने पूर्व राजपरिवार के सदस्य दिवंगत महेंद्र सिंह मेवाड़ को श्रद्धांजलि दी।