पत्रिका की टीम दोपहर २ बजे मऊचुंगी रोड नया बस स्टैंड जय पारस खाद भंडार पर पहुंची। वहां पर किसान खाद की खरीदी कर थे। पीछे से किसान बनकर पत्रिका की टीम भी पहुंची। उन्होंने डीएपी की बात की, जबाव में डीएपी खत्म होने की आवाज आई। फिर यूरिया बोरी के रेटों पर बात होने लगी, खाद भंडार संचालक ने जबाव दिया। बड़ी संख्या में खरीदोंगे तो ३३० रुपए में बेचेंगेे और कम संख्या में खरीदोंगे तो ३६० रुपए तक की एक बोरी बेच देंगे। एनपीके १४०० रुपए से कम में नहीं बेच पाएंगे। टीम ने यूरिया के कम दाम लगाने की बात कही, लेकिन बात नहीं बनी।
डीएपी खाद को लेकर एक ओडियो सामने आया है। जिसमें बल्देवगढ़ का किसान खरगापुर के खाद व्यापारी से खाद के दामों की जानकारी ले रहा है। किसान ने डीएपी खाद की बात कही तो उसने स्टॉक खत्म की बात कही। फिर एनपीके खाद की बोरी के बारे में पूछा तो उन्होंने १३५० रुपए की बोरी और यूरिया ३०० रुपए की बताई है।
पत्रिका की टीम ने नजाई और मऊचुंगी नया बस स्टैंड की खाद की दुकान पर बोरियों के रेट लिए। लेकिन किसी भी दुकान पर डीएपी, एनपीके, यूरिया के साथ अन्य खाद और स्टॉक की सूची चस्पा नहीं थी। जिसके कारण किसान सरकारी दाम और निजी खाद दुकानों के दामों में भ्रमित हो रहा था। इस मामले में कृषि उपसंचालक अशोक कुमार शर्मा को फोन लगाया गया, लेकिन उन्होंने कोई जबाव नहीं दिया।
खाद का नाम रुपए
डीएपी १३५० रुपए बोरी
यूरिया २६६.५० रुपए बोरी
एनपीके १२०० रुपए बोरी
२०२००१३ १२०० रुपए बोरी
इनका कहना
डीएपी खाद खत्म है और यूरिया का स्टॉक कुछ मात्रा में रखा है। खाद व्यापारियों को अधिक दामों की जगह सरकारी दामों के अनुसार खाद को बेचना चाहिए। मामले की सूचना लिखित में वरिष्ठ अधिकारियों को देता हूं। जिससे खाद व्यापारियों पर कार्रवाई हो सके।
अनिल कुमार नरबरे, डीएमओ जिला विपणन केंद्र टीकमगढ़।