इसके लिए कुछ नियम बनाए गए हैं। बताया गया है कि खास दिन किस दिशा में यात्रा करना ठीक है या नहीं और दिशाशूल के दिन यात्रा करना जरूरी हो तो उसके लिए क्या उपाय किया जाय ताकि यात्रा सुखद और आरामदायक रहे।
वहीं पश्चिम दिशा में रविवार और शुक्रवार को दिशाशूल लगता है। आचार्य प्रदीप के मुताबिक गुरुवार को दक्षिण दिशा में जाने पर दिशाशूल लगता है, जबकि मंगलवार और बुधवार को उत्तर दिशा में जाने पर दिशाशूल लगता है। यह भी कहा जाता है कि रविवार, गुरुवार और शुक्रवार के दोष रात में प्रभावी नहीं होते, जबकि सोम मंगल शनि के दोष दिन में प्रभावी नहीं होते। लेकिन बुधवार के दिशाशूल से बचना चाहिए। हालांकि एक ही दिन में कहीं जाकर लौटना हो तो दिशाशूल देखने की जरूरत नहीं होती।