ऑर्थोपेडिक विभाग जिला अस्पताल परिसर में बने ट्रोमा सेंटर में चल रहा है, जहां हड्डी के फैक्चर रोगियों के लिए 25 बेड के दो वार्ड बने हुए हैं। तत्काल एक्सरे के लिए डिजिटल एक्सरे मशीन भी बनी हुई है। डॉ. बुनकर का तबादला होते ही लाखों रुपए के डिजिटल एक्सरे मशीन के साथ सारे संसाधन और करीब 7 नर्सेज का स्टाफ बेकार हो जाएगा। इस तरह पूरे ट्रोमा सेंटर पर ताले ही लग जाएंगे। प्लस्तर कक्ष भी नहीं रहेगा।
मानसिक विभाग
20-25 रोगियों का था प्रतिदिन आउटडोर
700 से ज्यादा रोगियों का नियमित फॉलोअप
10 आउटडोर शिविर से उपचार
नेत्र विभाग
6 लोगों के आंख ऑपरेशन प्रतिदिन
35-40 लोगों के आंखों की जांच
100 से ज्यादा का प्रतिदिन आउटडोर
ऑर्थोपेडिक विभाग
4-5 हड्डी के ऑपरेशन प्रतिदिन
22-25 लोगों के प्रतिदिन प्लस्तर
200 लोगों का आउटडोर
50 से ज्यादा प्रतिदिन डिजिटल एक्सरे
रिलीव तो करना ही पड़ेगा
डॉ. बुनकर का तबादला सरकार से हुआ। इसलिए रिलीव तो करना ही पड़ेगा। वैकल्पिक तौर पर किसी अन्य डॉक्टर को लगाने अथवा डॉ. बुनकर को ही भीम से दो तीन दिन राजसमंद लगाने की व्यवस्था करेंगे। सभी पद भरने के लिए सरकार को लिखा जाएगा। साथ ही उचित कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
अरविंद पोसवाल, जिला कलक्टर राजसमंद
मानसिक रोग विशेषज्ञ का तबादला होने से रिलीव हो गए, जबकि नेत्र विशेषज्ञ ने स्वैच्छिक सेवानिवृति ले ली। ऑर्थोपेडिक विभाग से डॉ. बुनकर का भीम तबादला हो गया, मगर मैंने सरकार को लिखा है। जिला कलक्टर को भी अवगत कराया। फिर भी मुझे तो रिलीव करने के निर्देश मिल गए हैं। प्रयास यही है कि तबादला निरस्त हो जाए। डॉ. बुनकर के जाने के बाद तो ट्रोमा पर ताले जडऩे की नौबत आ जाएगी। खास तौर से घटना, दुर्घटना के घायलों को प्राथमिक उपचार भी नहीं मिल सकेगा।
डॉ. एचसी सोनी, प्रमुख चिकितसा अधिकारी आरके जिला चिकित्सालय राजसमंद
राजनीतिक द्वेषता से जिला अस्पताल से डॉक्टरों को हटाकर आमजन की सेहत से खिलवाड़ करने का प्रयास रचा गया है। यह राजीतिक षडय़ंत्र है। इसके लिए मैंने चिकित्सा निदेशालय में बात की है। जिला कलक्टर को ज्ञापन देकर चेता दिया। अगर डॉ. बुनकर को रिलीव किया, तो उग्र आंदोलन करेंगे।
किरण माहेश्वरी, विधायक राजसमंद