हजारों छात्रों के कड़े आंदोलन के बाद आयोग को 10 दिन के अंदर यह फैसला वापस लेना पड़ा। सरकार के इस फैसले के बावजूद
प्रयागराज में छात्रों का आंदोलन जारी है और उन्होंने फैसला किया है कि जब तक उनकी सारी मांगे नहीं मान ली जाती हैं तब तक उनका धरना प्रदर्शन जारी रहेगा।
UPPSC ने गुरुवार को 2 शिफ्ट में परीक्षा का फैसला वापस ले लिया जो 5 नवंबर को ही लिया गया था। आयोग ने यूपी पीसीएस फिर से पुराने पैटर्न पर कराने का फैसला लिया करते हुए अपनी वेबसाइट पर नोटिस जारी कर इसकी आधिकारिक पुष्टि कर दी है।
लेकिन अभी RO/ARO परीक्षा के लिए कमेटी बनाने की बात कही गई है। जिससे छात्रों के अनुसार आधी मांग ही पूरी हुई है।
आयोग के फैसले के मुताबिक-
पीसीएस परीक्षा (प्रारंभिक) को अब एक ही दिन और शिफ्ट में कराया जाएगा। सरकार द्वारा RO/ARO परीक्षा के लिए एक उच्चस्तरीय कमेटी गठित की गई है, जो रिपोर्ट आने के बाद आखिरी फैसला लेगी।
छात्रों के आंदोलन की असली वजह
जिस परीक्षा के लिए आंदोलन अब भी हो रहा है, वो है समीक्षा अधिकारी-सहायक समीक्षा अधिकारी की परीक्षा है। इनके पद कुल 411 हैं, और 10 लाख 76 हजार अभ्यर्थी हैं। य़ानी एक पद के लिए 2618 युवाओं में कंपटीशन होगा। इतने कड़े मुकाबले के बीच 11 फरवरी 2024 को इसका पहले पेपर हुआ था। जो लीक हो गया। छात्रों ने पहले लीक पेपर के खिलाफ परीक्षा रद्द कराने का आंदोलन किया तो मार्च में परीक्षा जाकर रद्द हुई।
अब 22-23 दिसंबर की तारीख आई तो दो दिन में चार शिफ्ट में पेपर कराने को कहा गया। फिर आंदोलन किया तो परीक्षा स्थगित हुई लेकिन कमेटी के भरोसे जाकर एग्जाम छोड़ दिया गया। यही वजह है कि छात्र चाहते हैं कि मीक्षा अधिकारी-सहायक समीक्षा अधिकारी वाली परीक्षा की भी नोटिफिकेशन तुरंत जारी हो।