रिस्पॉन्सिबल टूरिज्म मिशन सोसायटी के सीईओ रूपेश कुमार बताते हैं कि एक स्वायत्त संस्था है जो केरल सरकार के पर्यटन विभाग के तहत कार्य करती है, जिसका उद्देश्य राज्य भर में रिस्पॉंसिबल टूरिज्म के महत्व को बताना और इसके तहत की जाने वाली पहल को पूरे प्रदेश में लागू करना है। इसकी शुरुआत फरवरी 2007 में हुई थी। इसके बाद वर्ष 2017 में रिस्पॉंसिबल टूरिज्म मिशन लॉन्च किया गया।
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1.सुधा पेपर बैग मेकिंग प्रोजेक्ट अवनी चलाती हैं। वह करीब तीन साल पहले इस मिशन से जुड़ी थीं। सुधा बताती हैं कि आर्थिक रूप से सशक्त बनने के लिए उन्होंने इस मिशन में पेपर बैग और कागज से बनी अन्य वस्तुएं बनाना सीखा। अब सरकार से भी उन्हें कई ऑर्डर मिलते हैं। इसके अलावा वह स्थानीय मेलों और इंस्टाग्राम हैंडल से ये चीजें बेच रही हैं। 2.मिनी, अपने पति और बेटी निमिषा कैंडल मेकिंग से जुड़ी हुई हैं। उन्हें भी इस मिशन के तहत ट्रेनिंग मिली। उनकी मोमबत्तियों में शंख-सीपी, स्टारफिश जैसी चीजें नजर आती हैं। मिनी को कैंडल मेकिंग के लिए राज्य स्तर कई पुरस्कार भी मिल चुके हैं।
3.मिशन से जुड़ीं होम शेफ सुनंदा का पैशन खाना पकाना है। शुरुआत में वह कई मैगजीन में अपनी रेसिपी भेजा करती थीं। उन्होंने स्थानीय स्तर पर कई कुकिंग कॉम्पीटिशन में भी भाग लिया। अब वह आरटी मिशन से जुड़ी हैं और लोगों को अपने घर पर केरल कुजीन का स्वाद चखा रही हैं।
टॉपिक एक्सपर्ट
पी.ए.मोहम्मद रियाज
पर्यटन मंत्री, केरलहमें इस प्रोजेक्ट के लिए कई अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार मिल चुके हैं। हमने कई आरटी यूनिट्स बनाई हैं। हम चाहते हैं कि पर्यटक इन्हें देखे हैं। इसके लिए हम छोटे-छोटे सर्किट्स बना रहे हैं, जिसमें होटल, रिसॉर्ट्स, होम स्टे को जोड़ा है। देश का हर राज्य इसे मॉडल बना सकता है।