पुलिस उपायुक्त (पश्चिम) राजर्षि राज वर्मा ने बताया कि एक वृद्ध के मोबाइल में 14 नवम्बर को अनजान व्यक्ति ने कॉल किया और तनाव मुक्ति के लिए फ्रेंड्स फॉर एवर नामक क्लब जॉइन कर दोस्ती करवाने का झांसा दिया। वृद्ध ने फिक्स डिपोजिट के नाम पर 1950 रुपए ऑनलाइन जमा करा दिए थे। इसके बाद क्लब का कार्ड जारी करने और अन्य शुल्क के नाम पर अलग-अलग किस्तों में 42,23,141 रुपए ऐंठ लिए। वृद्ध ने 10 जनवरी को साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई।
बासनी थानाधिकारी मोहम्मद शफीक खान को जांच सौंपी गई। मोबाइल व बैंक खाता नम्बर से जांच शुरू की गई तो ठग के कोलकाता में होने का पता लगा। एसआइ सुरेश कुमार के नेतृत्व में पुलिस कोलाकाता भेजी गई। पांच दिन में पांच हजार किमी तलाश के बाद पुलिस ने पश्चिम बंगाल में पश्चिम मेदिनीपुर निवासी अश्विनी पुत्र अजय ओझा को पकड़ लिया। उससे ठगी के रुपए, एक कार, 11 मोबाइल, 10 क्रेडिट व 12 डेबिट कार्ड जब्त किए। उसे जोधपुर लाकर शुक्रवार को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उसे रिमाण्ड पर भेजने के आदेश दिए गए।
सिर्फ वृद्ध व उम्र दराज व्यक्ति थे निशाने पर
आरोपी अश्विनी से पूछताछ में सामने आया कि वह देशभर में सिर्फ वृद्ध व अकेले रहने वाले लोगों से ही ठगी करता है। वह वृद्धजन के मोबाइल नम्बरकेसे और कहां से लाता था, इस बारे में पूछताछ की जा रही है।
यूएसडीटी की खरीद-फरोख्त का एक आरोपी फरार
कुड़ी भगतासनी थाना पुलिस ने साइबर ठगी के एक मामले में वांछित पुखराज जाट को पकड़ने के लिए केबीएचबी सेक्टर-6 में खाली मैदान में दबिश दी थी, जहां पुखराज व साथी मांगीलाल यूएसडीटी की खरीद-फरोख्त में लिप्त थे। पुलिस को देख पुखराज भाग गया था। पुखराज की तलाश की जा रही है।