उन्होंने बताया कि गूगल पर सर्च करने पर कई बार गलत जानकारी भी सामने आती है। इसलिए गुगल की जगह संबधित संस्था को कॉल करके जानकारी लेना अधिक सुरक्षित होता है। कार्यशाला में मौजूद लोगों को एक्सपर्ट ने बताया कि जीमेल पासवर्ड कभी भी आसान नहीं रखें। कई लोग अपने मोबाइल नम्बर को ही पासवर्ड बना लेते हैं, ऐसा नहीं करना चाहिए। यदि किसी हैकर को जीमेल का पासवर्ड मिल गया तो आपके डिवाइस की सम्पूर्ण जानकारी आसानी से प्राप्त कर लेगा। ऐसे करें अपने मोबाइल को सुरक्षित- कार्यशाला में मोबाइल को सुरक्षित करने तथा फेक एप्स व लिंक नहीं खोलने की सलाह दी गई। साथ ही अनजान काल से बचने, डिजिटल अरेस्ट से बचाव, बैंक से संबधित नुकसान होने से बचाव,एपीके फाइल नही खोलने, ओटीपी या अन्य तरह किसी भी तरह की कोई भी जानकारी अनजान कॉल पर शेयर नहीं करने तथा डिवाइस को सुरक्षित रखने को लेकर कई तरह की जानकारी दी गई।
फोन पर नहीं दें कोई जानकारी- कैलाश चन्द ने बताया कि किसी भी अनजान व्यक्ति को अपना फोन नहीं दे। कोई भी व्यक्ति आपकी सीम से गलत काम करेगा तो उसके जिम्मेदार आप स्वयं होंगे। कई बार फ्रॉड बैंक केवाईसी आदि के नाम पर ओटीपी मांगते हैं, आपको किसी को भी ओटीपी, क्रेडिट कार्ड आदि नहीं बताने हैं, कोई सा भी बैंक हो कभी भी फोन इस तरह की जानकारी नहीं मांगते हैं, फिर भी आपके पास इस तरह का फोन आए तो आप उसका फोन काट कर स्वयं बैंक में जाकर व्यक्तिगत रूप से वेरिफिकेशन के लिए मिले। सोशल मीडिया पर स्वयं फर्जी एकाउंट नहीं बनाए और ना ही पसर्नल फोटो सोशल मीडिया पर डालें। नहीं तो फ्रॉर्ड करने वाले उसका गलत उपयोग कर ब्लैकमेल कर पैसे मांगते हैं।
पेन-पैंसिल पैकिंग के नाम पर कर रहे ठगी- साइबर एक्सपर्ट ने बताया कि आजकल महिलाओं के साथ घर बैठे पैसे कमाने के नाम पर पेंन पैंसिल पैकिंग के नाम पर बहुत ज्यादा ठगी हो रही है। वो पहले आपको बोलेंगे कि पंजीयन के लिए इतने पैसे डालने पडेंगे फिर कहेंगे कि इतने पैसे खाते में डालो, आपका आधार कार्ड, पैन कार्ड आदि लेकर आपका खाता खाली कर देंगे। ऐसे में कोई भी कंपनी ऑनलाइन किसी तरह के दस्तावेज नहीं मांगती है, पहले भौतिक सत्यापन करें उसके बाद ही इस तरह का कदम उठाएं। सहायता के लिए यहां करे कॉल कार्यशाला में बताया कि यदि कोई भी व्यक्ति साइबर क्राइम का शिकार हो जाता है तो उसे तुरन्त टोल फ्री नम्बर 1930 पर कॉल कर शिकायत दर्ज करवाना चाहिए। या नजदीकी साइबर थाने पर या पुलिस थाने पर सूचना देना चाहिए। ताकि फ्रॉर्ड के तत्काल होने वाले नुकसान से बचाव के प्रयास किए जा सके।
कार्यक्रम में साइबर थाने के हैड कांस्टेबल सुरेश चन्द बैरागी, गढ़ पार्क सेवा समिति के अध्यक्ष रईस पठान, गायत्री शक्ति पीठ के प्रवक्ता ओम पाठक, नरेश चन्द्र, तौसिफ बेग, सोहनलाल वैष्णव, आराम, अनीता पाटीदार, राहत खान, रविन्द्र मीणा, दिलखुश मीणा, रौनक, अर्जुन, लोकेश बैरवा, प्रमोद, परवेज, अजय, भगवानदास, बाबूलाल, नानूराम, विष्णु यादव, जतिन, रामसिंह, रशीद पठान सहित कई लोग मौजूद रहे।