कार्यवाहक डीजी हेमंत प्रियदर्शी ने बताया कि परिवादी ने कहा फैक्ट्री, दफ्तर व बैंक खाते सीज नहीं करने की एवज में आरोपी अधिकारी प्रियंका शर्मा व दलाल को 6.10 लाख रुपए रिश्वत की राशि देकर आया, लेकिन आरोपियों द्वारा रिश्वत मांगने व लेने की ऑडियो-वीडियो व अन्य सबूत साथ लेकर आया है।
मामले की जांच एएसपी बजरंग सिंह शेखावत को सौंपी। शेखावत की टीम ने दो दिन तक आरोपी अधिकारी प्रियंका शर्मा और दलाल के खिलाफ सबूत जुटाए। झोटवाड़ा में 28 जुलाई दोपहर करीब 3 बजे दलाल वेदप्रकाश को गिरफ्तार किया। उसने कहा रुपए तो दीदी को दे दिए।
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तब एएसपी शेखावत ने परिवादी की तरफ से आरोपी अधिकारी प्रियंका से वेदप्रकाश के जरिए बात की और रिश्वत की राशि मिलने की पुष्टि की। प्रियंका ने रुपए मिल जाने की पुष्टि की, तभी झालाना स्थित वाणिज्य कर विभाग के दफ्तर के बाहर खड़ी एसीबी की दूसरी टीम ने उसको गिरफ्तार कर लिया।