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जबलपुर

पिता ने अपनी जगह बेटे की लगवाई नौकरी, मैनेजर बनकर लगा दी ढाई करोड़ की चपत

पिता ने अपनी जगह बेटे की लगवाई नौकरी, मैनेजर बनकर लगा दी ढाई करोड़ की चपत

जबलपुरApr 12, 2024 / 03:32 pm

Lalit kostha

Father and son cheated

Father and son cheated

जबलपुर. शहर में एक कंपनी के मैनेजर ने रिकॉर्ड में हेरफेर कर कम्पनी को ढाई करोड़ रुपए की चपत लगा दी। उसने तीन मंजिला आलीशान मकान तान लिया। मामले की भनक लगने पर संचालक ने जांच की तो पूरा फर्जीवाड़ा खुलकर सामने आ गया। इसकी रिपोर्ट बुधवार रात गोरखपुर थाने में दर्ज कराई गई।

पुलिस ने बताया कि सिविल लाइंस मरियम चौक निवासी भानु शुक्ला कैलाश देव बिल्ड प्राइवेट लिमिटेड के संचालक हैं। उनकी कम्पनी बिजली की ट्रांसमिशन लाइन और सब स्टेशन बनाती है। यह सरकारी ठेके लेती है। इससे कई अन्य फर्म भी जुड़ी हुई हैं। कंपनी में संतोष लोंदे काम करते थे। उन्होंने दस साल पहले अपने बेटे दीपांशु को उसी कम्पनी में लगवाया। कुछ साल पहले दीपांशु को मैनेजर के पद पर पदोन्नत किया गया। उसे संचालक के डिजीटल हस्ताक्षर का प्रभारी भी बना दिया गया। दीपांशु ने मैनेजर का पद संभालने के बाद फर्जीवाड़े का खेल शुरू कर दिया। कंपनी के ऑर्डर में दीपांशु गोलमाल कर देता था। वह संचालक को गुमराह कर महंगे दामों में सामान खरीदता और इसके एवज में उसे मोटी रकम मिलती थी।

 

पूरा परिवार फर्जीवाड़े में शामिल
जांच में दीपांशु समेत उसके पिता संतोष, भाई मयंक, योगेन्द्र और दीपांशु की मित्र शुभांगी बघेल और शिखा मिश्रा भी इस फर्जीवाड़े में शामिल मिलीं। दीपांशु के खाते में 21 लाख 21 हजार रुपए, मयंक के अकाउंट में 12 लाख 28 हजार रुपए, योगेन्द्र के अकाउंट में पांच लाख चार हजार रुपए, शुभांगी के अकाउंट में एक लाख 22 हजार रुपए और शिखा के अकाउंट में तीन लाख 30 हजार 150 रुपए मिले। यह रकम उन फर्मों से आई थी, जिसे दीपांशु ने कम्पनी की जानकारियां बेची थीं। इस फर्जीवाड़े में उसके साथ रोहित सेन भी शामिल था।

 

जांच में खुले कई राज
कम्पनी के संचालक भानु शुक्ला तीन अप्रेल को कार्यालय पहुंचे। उन्हें दीपांशु की गतिविधियों पर संदेह हुआ। जांच में दूसरी कम्पनियों के कर्मचारियों से दीपांशु की वॉट्सऐप चैट सामने आई। कम्पनी के गोपनीय दस्तावेज भी दूसरों को भेजे गए थे।

आपत्तिजनक तस्वीरें भी मिली

पुलिस को दीपांशु के मोबाइल में कई युवतियों के साथ आपत्तिजनक तस्वीरें भी मिली हैं। गोरखपुर पुलिस ने दीपांशु समेत उसके पिता संतोष, भाई मयंक, योगेन्द्र और रोहित सेन के खिलाफ धोखाधड़ी, अपराधिक षड्यंत्र व अमानत में ख्यानत की धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज किया है।

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