डीआरआई की गोरखपुर इकाई को सूचना मिली थी कि पाकिस्तान में नकली नोट छापकर नेपाल के रास्ते लाकर भारत में खपाये जा रहे हैं। रिपोर्ट के आधार पर डीआरआई की टीम तत्काल सक्रीय होकर इसका पता लगाने में जुट गई। टीम ने पूरी छानबीन के बाद आखिरकार बीते गुरुवार को गोरखपुर के गोलघर में छापेमारी कर बिहार के एक युवक को गिरफ्तार कर लिया। उसके पास से 69 हजार रुपये के नकली नोट बरामद हुए। इसमें से दो हजार रुपये के 48 नोट पाकिस्तान में छपे हैं।
पकड़े गए नकली नोटों को सीज कर दिया गया और गिरफ्तारी के बाद युवक ने भी कई राज उगले हैं। डीआरआई के मुताबिक पाकिस्तान से नकली नोट नेपाल आए और उसके बाद वहां से व्यवस्था कर इसे गोरखपुर पहुंचाया गया। पता चला है कि ये नोट कौड़ीराम, गगहा, चौरीचौरा, बेलघाट और बड़हलगंज इलाके में खपाए जाते हैं।
सूत्रों की मानें तो डीआरआई को गिरोह के सदस्यों की जानकारी मिल चुकी है और जल्द इससे जुडत्रे कुछ और लोग गिरफ्तार किये जा सकते हैं। हालांकि पूरे गैंग को पकड़ने के लिये एजेंसी अभी पकड़े गए युवक की पहचान से लेकर अन्य जानकारियों का खुलासा नहीं कर रही है।
बाजार में ऐसे खपाते हैं नकली नोट
नकली नोट खपाने के लिये गिरोह ने छोटे कस्बों और छोटे-छोटे बाजारों को टारगेट कर रखा है। कहा जा रहा है कि इसके लिये स्थानीय लोगों की मदद से बड़ा नेटवर्क खड़ा किया गया है। ये लोग स्थानीय दुकानदारों का भरोसा आसानी से जीत लेते हैं, जिससे उनपर शक नहीं होता। इसके बाद नकली नोट देकर सामान खरीदे जाते हैं। ऐसा पता चा है कि हर व्यक्ति को पांच-पांच हजार रुपये के नकली नोट दिये जाते हैं, जिसपर 20 से 25 प्रतिशत कमीशन मिलता है।
पहले भी हुई गिरफ्तारी
नकली नोटों के कालो कारोबार पर अंकुश लगाने के अभियान के तहत बीते 11 दिसंबर को भी एक व्यक्ति को नकली नोट के साथ गिरफ्तार किया जा चुका है। बेलाघाट थानाक्षेत्र के बरपार गांव से धर्मपाल नाम के व्यक्ति को गिरफ्तार कर 200 रुपये के 33 नकली नोट बरामद किये गए थे। पुलिस के मुताबिक किसी को शक न हो इसलिये वह बड़ी ही चालाकी से एक दिन में सिर्फ 200 रुपये के नकली नोट खपाता था।