इसमें युवा और बुजुर्ग भी शामिल है। ऐसे में वे इलाज कराने के लिए जिला अस्पताल पहुंच रहे हैं। गंभीर मरीजों को (Health Alert) भर्ती कर उनका इलाज किया जा रहा है। यही वजह है कि अस्पताल में मरीजों से बेड फुल हो गया है।
Health Alert: उल्लेखनीय है कि झमाझम बारिश के बाद अब मौसम साफ हो गया है। पिछले कई दिनों से अच्छी बारिश नहीं होने से वातारवरण सर्द-गर्म हो गया है, जिसका सीधा असर लोगों की सेहत पर पड़ने लगा है। खासकर शून्य से लेकर 15 साल तक के बच्चे उल्टी और दस्त से पीड़ित हो रहे हैं।
अनियमित दिनचर्या और खानापान के चलते युवा और बुजुर्ग भी बीमार होकर इलाज कराने के लिए जिला अस्पताल पहुंच रहे है। मंगलवार को सुबह से ही अस्पताल के पर्ची काउंटर में मरीजों की भीड़ लगी रही। ओपीडी में भी बच्चों का इलाज कराने के लिए उनके पालक उन्हें लेकर आए है।
महिला मधुरानी शुक्ला, सृष्टि साहू, निर्मला देवांगन ने बताया कि पिछले चार दिनों से उनका बच्चे दस्त से पीड़ित है। इलाज कराने के बाद भी राहत नहीं मिल रही है। ऐसे में वे अपने बच्चे को भर्ती कराने के लिए जिला अस्पताल लेकर आई हैं। अन्य मरीजों ने (CG Health Alert) बताया कि बच्चों के साथ ही युवा और बुजुर्ग भी मौसमी बीमारी की चपेट में आ रहे हैं।
अस्पताल सूत्रों की मानें तो सामान्य दिनों में यहां प्रतिदिन 550 की ओपीडी और करीब 4 सौ की आईपीडी होती है, लेकिन जब से मौसम का मिजाज बदला है। मरीजों की भीड़ अप्रत्याशित रूप से बढ़ी है। स्थिति यह है कि मरीजों को भर्ती करने के लिए अस्पताल में मेल-फीमेल वार्ड में बेड खाली है। पेयोड्रिक वार्ड में भी बेड फुल होने वाला है। ऐसे में पालकों को बच्चों के स्वास्थ्य पर ध्यान देने कहा जा रहा है।
यह बता रहे हैं कारण शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ अखिलेश देवांगन ने बताया कि सर्द-गर्म मौसम में खानपान पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। अनियमित दिनचर्या और संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से लोग सर्दी, खांसी और बुखार से पीड़ित हो रहे हैं। बच्चों की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम होती है। लापरवाही (Weather Health Alert) बरतने पर वे जल्द ही मौसमी बीमारी की चपेट में आ जाते हैं। ऐसे में पालकों को विशेष ध्यान देना चाहिए।
सर्द-गर्म मौसम में खानापान में विशेष सतर्कता बरतनी चाहिए। जिला अस्पताल में सभी मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराया जा रहा है।
डॉ राकेश सोनी, आरएमओ