पार्थिव पटेल इंस्टाग्राम लाइव के दौरान यह खुलासा किया कि जब वह महज छह साल के थे, तब दरवाजे के बीच उनके बाएं हाथ की बेबी अंगुली फंस गई थी। इस कारण उसे काटना पड़ा था। उन्होंने बताया कि एक विकेटकीपर के लिए नौ अंगुलियों से खेलना आसान नहीं था, क्योंकि छोटी अंगुली में ग्लव्स नहीं आती थी। इस कारण उन्होंने उसमें टेप लगाना शुरू किया, ताकि ग्लब्स की आखिर की दोनों अंगुलियां एक साथ रहे। उनकी यह ट्रिक काम कर गई और वह खुशनसीब हैं कि नौ अंगुलियां होने के बाद भी देश के लिए खेल पाया।
17 साल की उम्र में किया था डेब्यू
पार्थिव ने 2002 में इंग्लैंड के खिलाफ जब अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में कदम रखा था, तब वह महज 17 साल के थे। वह भारत के लिए 25 टेस्ट आौर 38 एकदिवसीय मैच खेल चुके हैं। इसमें उन्होंने 934 और 736 रन बनाए हैं। हालांकि इसके बाद महेंद्र सिंह धोनी के पदार्पण के बाद घरेलू क्रिकेट में अच्छा प्रदर्शन के बाद भी उन्हें ज्यादा मौके नहीं मिल पाए। पटेल ने 193 लिस्ट ए और 194 फर्स्ट क्लास मैच में अब तक 16 हजार से भी अधिक रन बनाए हैं।