वहीं इससे पहले रविवार को प्रकृति का कहर खरगोन जिले में किसानों पर कुछ इस कदर टूटा कि खरगोन में कश्मीर सा नजारा हो गया। वहीं डिंडोरी में भी जमकर हुई ओलावृष्टि के कारण हर तरफ ओलों की सफेद चादर बिछ गई। वहीं इनके अलावा रविवार को मंडला, खरगोन, खजुराहो, सागर, गुना सहित कई स्थानों पर तेज बारिश के साथ ओले भी गिरे।
मौसम पूर्वानुमान: आज यहां ओले, बिजली के आसार
मौसम विभाग ने अगले 24 घंटों में शहडोल संभाग के जिलों मंडला, डिंडोरी, बालाघाट, नर्मदापुरम, छिंदवाड़ा, नरसिंहपुर, सिंगरौली और सिवनी जिलों में कहीं-कहीं ओले और गरज-चमक के साथ बिजली गिरने की संभावना जताई है।
राजधानी में शाम को शुरुआती समय में जहां शहर में हल्की बारिश होती रही। वहीं शहर के कुछ क्षेत्रों में थोड़ी देर में भीषण बारिश शुरु हो गई। वहीं इस दौरान कुछ जगहों पर तेज हवाओं के बीच आसमान पर तेज गड़गड़ाहट के बीच बिजली चमकती रही। शाम के समय शुरु हुई बारिश के चलते रास्ते में चल रहे वाहनों ने अपनी स्पीड बड़ा दी ताकि वे समय पर घर पहुंच सकें, वहीं बारिश की तीव्रता में इजाफा होने पर शहर के कई स्थानों सहित होशंगाबाद रोड पर लोगों को बारिश से बचने के लिए पेड़ों, मंदिरों व अन्य जगहों का सहारा लेते दिखे।
ज्ञात हो कि मौसम विभाग की ओर से पहले ही चेतावनी जाहिर कर दी गई थी कि अभी कुछ दिनों तक प्रदेश में कई स्थानों में बारिश हो सकती है। देर शाम रुकी बारिश के बाद जानकारों का कहना है कि अभी रात में दोबारा बारिश की संभावना बनी हुई है।
खरगोन सहित डिंडौरी में हुई ओलावृष्टि के चलते वहां क्या सड़क..क्या खलिहान और क्या घरों के आंगन..हर तरफ सिर्फ बर्फ ही बर्फ नजर आई। ओलावृष्टि के बाद लोगों ने हर तरफ बिछी बर्फ की तस्वीरें और वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर अपलोड कर दिए, जिन्हें देखकर हर कोई हैरान है। बताया जा रहा है कि करीब एक घंटे तक यहां नींबू के आकार के ओले गिरे, जिसका जनजीवन पर खासा असर पड़ा। ओले की चपेट में आने से मुर्गे-मुर्गियां मर गए। उधर, शाम करीब 4 बजे खरगोन जिला मुख्यालय पर एक घंटे तक बारिश हुई।
आसमान से बरसी इस आफत से सबसे ज्यादा चिंता किसानों में है। जिले में एक तरफ गेहूं और चने की कटाई चल रही है, तो दूसरी ओर बेमौसम बारिश से फसलों को बड़ा नुकसान होने की आशंका है। दो दिन पहले बड़वाह क्षेत्र के काटकूट में भी तेज बारिश और ओले गिरने से सूखी नदियों में बाढ़ आ गई थी।
ग्रामीणों ने बताया कि चैत्र के महीने में अभी तक ऐसी बारिश और ओलावृष्टि पहले कभी नहीं हुई। ओलावृष्टि से क्षेत्र में अभी कितना नुकसान हुआ है, यह स्पष्ट नहीं है। वहीं ग्रामीणों के अनुसार तेज बारिश करीब आधे से एक घंटे तक हुई। इस दौरान चने के आकार के ओलों की झड़ी लग गई। पहाड़ी नदी-नालों में भी पानी बह निकला।
बिजली गिरने से 14 बकरियों की मौत
बकस्वाहा के बीरमपुरा गांव के जंगल में रविवार शाम आकाशीय बिजली गिरने से 14 बकरियों की मौत हो गर्ई। रविवार की शाम रिमझिम बारिश के चलते बकरियां का झुड पेड़ों के नीचे खड़ी थी।