पवित्र अमरनाथ यात्रा इस बार 1 जुलाई से शुरू होकर 15 अगस्त तक रहेगी। इस साल कुल यात्रा की अवधि 46 दिन रहेगी, जो पिछले साल के मुकाबले 14 दिन कम है। पिछले साल 60 दिन की यात्रा थी।
इस बार भोपाल से जाने वाले जत्थे लेह लद्दाख होते हुए बालटाल पहुंचेंगे। ओम शिव शक्ति सेवा मंडल के रिंकू भटेजा ने बताया कि इस बार हमारे मंडल की ओर से कुल सात जत्थे अमरनाथ यात्रा के लिए जाएंगे, जिसमें तीन जत्थे लेह के रास्ते पहुंचेंगे।
आमतौर पर अमरनाथ यात्रा के दौरान वहां उपद्रवियों द्वारा पत्थरबाजी की जाती है, इसके कारण बार-बार यात्रा में व्यवधान आता है और यात्रियों को जम्मू सहित रास्ते में कई स्थानों पर रूकना पड़ता है। ऐसी स्थिति में लेह वाला मार्ग सुरक्षित है, इसलिए इस बार तीन जत्थे इसी मार्ग से भेजे जाएंगे।
पिछले साल के मुकाबले एक माह देरी से पंजीयन इस साल पिछले सालों के मुकाबले एक माह की देरी से पंजीयन की प्रक्रिया शुरू हो रही है। हर साल आमतौर पर 1 मार्च से देश भर में अमरनाथ यात्रा के लिए पंजीयन का सिलसिला शुरू हो जाता है। लेकिन इस साल पंजीयन 1 अप्रैल से शुरू हो रहे हैं।
पंजीयन करवाते समय मेडिकल सर्टिफिकेट सहित जरुरी दस्तावेज जमा कराने होते हैं। पंजीयन के बाद ही तारीख के आधार पर रेलवे रिजर्वेशन यात्री कराते हैं, लेकिन इस बार पंजीयन लेट होने के कारण कई यात्रियों को रिजर्वेशन में भी दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा।
मेडिकल परीक्षण के लिए अधिकृत डॉक्टर्स की सूची जारी अमरनाथ यात्रा के लिए श्राइन बोर्ड ने स्वास्थ्य परीक्षण के लिए अधिकृत डॉक्टर्स की सूची जारी कर दी है। जिसमें मप्र के सभी सरकारी मेडिकल कॉलेज, एवं हॉस्पिटल के सभी सुप्रीडेंट, प्रोफेसर, अस्सिटेंट प्रोफेसर मेडिसिन डिपार्टमेंट शामिल है। अमरनाथ यात्रा परमिट बनवाने से पहले श्राइन बोर्ड द्वारा अधिकृत फार्म कंपलसरी हेल्थ सर्टिफिकेट पर अधिकृत डॉक्टर्स द्वारा स्वास्थ्य परीक्षण कराना अनिवार्य होगा। उसके बाद विभिन्न बैंकों में जाकर यात्रा के लिए पंजीयन कराया जा सकेगा।