पत्थरों की तरासी के लगाए जाएंगे 1000 मजदूर राम जन्मभूमि परिसर में चल रहे ग्राउंड इंप्रूवमेंट ( नींव की भराई ) का कार्य किया जा रहा है लगभग इंजीनियरिंग फील्ड मैटेरियल की 18 लेयर बिछाई जा चुकी हैं तो वही चल रहे कार्य को अक्टूबर माह तक हर हाल में पूरा किए जाने की तैयारी है। इस बीच जुलाई के अंतिम सप्ताह से कार्यशाला शुरू किए जाने के साथ राजस्थान की बंसी पहाड़पुर भरतपुर से पिंक स्टोन को अयोध्या लाने कटिंग कर पत्थरों पर तराशी के लिए 1000 मजदूरों को भी लगाया जाएगा। तो वही दिसंबर माह से मंदिर के बेस का निर्माण होगा जो 4 से 5 माह में पूरा किया जाना है। जिसके बाद 2022 में ही मंदिर निर्माण के लिए पत्थरों लगाए जाने का कार्य प्रारम्भ होगा। 2022 में मंदिर के पहले तल को बनाये जाने का कार्य भी पूरा होगा तो 2023 में दूसरे और तीसरे तल का निर्माण करेंगे। और 2024 में बड़े ही धूमधाम से भगवान श्री रामलला अपने गर्भगृह स्थल पर विराजमान होंगे इस दौरान पूरी अयोध्या में जश्न का महौल होगा।
2024 में गर्भगृह के कार्य होगा पूरा : ट्रस्ट श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के मुताबिक निर्माण कार्य की गति को तेज कर दिया गया है देश के लाखों करोड़ों राम भक्त मंदिर के इंतजार में हैं और किए गए वादे के तहत इस कार्य को पूरा किया जाना है तो वही मंदिर निर्माण को हजारों वर्षों तक सुरक्षित रखा जा सका भी ख्याल रखते हुए कार्य किया जाए। वहीं कहा कि 2022 में मंदिर के गर्भगृह का आकार लेना प्रारंभ हो जाएगा। हमारा लक्ष्य कि 2024 तक रामलला भव्य गर्भ ग्रह में विराजमान हो जाएं। जिसके बाद ऊपर दूसरों तल का निर्माण कार्य चलता रहेगा। वही कहां की मंदिर निर्माण कर रहे संस्था बड़े ही लगन और तत्परता के साथ कार्य कर रहे हैं जिसे समय के बीच पूरा कर लिया जाएगा