इससे पहले शनिवार को हांगकांग के विवादित ‘प्रत्यर्पण बिल’ ( Extradition bill ) अस्थायी रूप से स्थगित कर दिया गया। चीफ एग्जिक्यूटिव कैरी लैम ( carrie lam ) ने इसकी घोषणा करते हुए माना था कि इस बिल के कारण लोगों के बीच काफी तनाव फैला और समाज में दरार पैदा हो गई।
हालांकि, इस ऐलान के बाद भी इसके खिलाफ खड़े लोगों ने अपने कदम पीछे नहीं लिए हैं। प्रदर्शनकारियों ने तय किया है कि रविवार को पूर्वनिर्धारित विरोध रैली ( protest rally ) निकाली जाएगी। प्रदर्शनकारियों की मांग है कि बिल को स्थायी रूप से निरस्त किया जाए।
प्रदर्शनकारियों की नई मांग
जानकारी के मुताबिक प्रदर्शनकारी नेताओं ने कैरी लैम के इस्तीफे की भी मांग की है। प्रदर्शनकारियों का मानना है कि ‘यह फैसला एक चाकू की तरह शहर को घोंपा गया है।’ एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि, ‘यह चाकू हमारे दिल तक पहुंचा है। अब सरकार ने इस बिल को अस्थायी रूप से सस्पेंड करने का फैसला लिया है, लेकिन उन्होंने इसे वापस लेने से इनकार किया है।’ लोगों की मांग है कि इसे पूरी तरह से खत्म किया जाए। यही कारण है कि प्रदर्शनकारियों ने रविवार को जिन रैलियों और प्रदर्शनों को आयोजित करने की योजना बनाई थी, उसे रद्द न करने का फैसला किया है।
लैम ने विवादों पर जताया दुख
आपको बता दें कि शनिवार को कैरी लैम ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बिल को सस्पेंड करने की आधिकारिक जानकारी दी थी। तीन दिनों से मीडिया और सार्वजनिक स्थलों से दूर रहीं लैम ने दोपहर में प्रेस कॉन्फ्रेंस किया। उन्होंने कहा कि मैंने बिल के लिए अपनी तरफ से पूरी कोशिश की। इसके साथ ही उन्होंने यह भी माना कि बिल के चलते समाज में काफी अशांति फ़ैली। लैम ने बताया बिल को अस्थायी रूप से टाला जा रहा है। लैम ने कहा ‘मुझे बेहद दुःख और अफसोस है कि हमारे काम में कमी और कई अन्य कारणों ने काफी विवादों को जन्म दिया है।’
हांगकांग: प्रत्यर्पण बिल को सरकार ने अनिश्चित समय के लिए टाला, चीन ने किया समर्थन
उन्होंने कहा, ‘हमने लोगों की सरकार से की गई मांगो को सुना और इस पर विचार करने के लिए यह फैसला लिया है। इस अंतराल में बिल से संबंधित हर पहलू पर विचार किया जाएगा।’ आपको बता दें कि इससे पहले लैम ने बिल को लेकर हुए हिंसा को सोची-समझी साजिश का परिणाम बताया था। साथ ही लैम ने सफाई दी थी कि उन्होंने ‘देश का सौदा चीन से नहीं किया।’ हालांकि बुधवार के अपने इस संबोधन के बाद न तो उन्होंने कोई टिप्पणी की है, और न ही वो सार्वजनिक स्थलों पर देखी गईं हैं।
सरकार की मंशा भाप गए प्रदर्शनकारी?
हालांकि, लैम के इस ऐलान के बाद हांगकांग के कई मीडिया रिपोर्ट में दावा किया जा रहा है कि लैम ने सिर्फ इस बिल को कुछ समय के लिए टाला है ताकि विरोध कर रही शक्तियां कमजोर हो सकें। आशंका जताई जा रही है कि इस बिल को दोबार जुलाई में लागू करने की कोशिश की जा सकती है। एक रिपोर्ट में कहा गया कि, ‘सरकार की योजना है कि बिल को टालने के बाद प्रदर्शनकारियों की संख्या में कमी आ सकती है, जिसका फायदा उठाकर सरकार अपने मकसद में कामयाब हो सकती है।’