साइंस पार्क का कार्य राष्ट्रीय विज्ञान संग्रहालय परिषद (national science museum council) की देखरेख में होना है। इसका आधा खर्च स्मार्ट सिटी योजना (smart city scheme) के तहत वहन किया जाना है। एक साल बीतने को है, लेकिन साइंस पार्क (science park) का कार्य प्रारंभ (construction work) नहीं हो सका है। इसकी प्रस्तावित निर्माण अवधि 23 माह है। इसे सही मानें तो अब 11 महीने ही बचे हैं। पार्क का कामकाज शुरू हो जाए तब भी यह तयशुदा अवधि (time line) में नहीं बन पाएगा।
साइंस पार्क में आमजन को विज्ञान (science) के रहस्यों से रूबरू होने का मौका मिलेगा। यहां तारामंडल (stars), आकाशगंगा और सनशाइन गैलेरी (gallery) के बारे में ऑडियो-वीडियो से जानकारी दी जाएगी। शोधार्थी, विद्यार्थी और शिक्षकों को विज्ञान संकाय के बारे में विस्तृत जानकारी मिलेगी।
आमजन और विद्यार्थियों को विज्ञान(routine science) , ऊर्जा संरक्षण (energy conservation), सौर (solar) और अन्य गैर पारंपरिक ऊर्जा स्त्रोत (non conventional energy), यांत्रिकी और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग (electronics) से रूबरू कराने के लिए कोई माध्यम नहीं है। शहवासियों, विद्यार्थियों और शोधार्थियों को एनर्जी (energy park) अथवा साइंस पार्क (science park) की सख्त जरूरत है। उच्च, तकनीकी शिक्षा संस्थानों अथवा सार्वजनिक क्षेत्र में ऐसे पार्क के प्रयास भी नहीं हुए हैं। ऐसा तब है जबकि अजमेर स्मार्ट योजना में शामिल है।