तुर्की और सीरिया में भूकंप से अब तक 41 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। दक्षिण-पूर्वी तुर्की और उत्तरी सीरिया में 6 फरवरी को नौ घंटे के अंतराल पर आए 7.8 और 7.5 तीव्रता के भूकंप से मरने वालों की संख्या 41 हजार को पार हो गई है। दमिश्क में सीरियाई स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि बचाव समूह व्हाइट हेल्मेट्स के अनुसार, विद्रोहियों के कब्जे वाले उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र में मृतक संख्या 2,166 तक पहुंच गई है, जबकि 1,414 लोग सरकारी कब्जे वाले क्षेत्रों में मारे गए हैं। सीरिया में मरने वालों की कुल संख्या 5,814 है।
तुर्की में भूकंप से प्रभावित लोगों के लिए दिन रात रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया जा रहा है। भूकंप प्रभावित तुर्की में बचावकर्मी तबाही के 200 घंटे से अधिक समय बीत जाने के बाद भी लोगों के जीवित मिलने की कुछ उम्मीद में मलबा हटाने के काम में लगे हैं। इसी बीच 212 घंटे बाद 77 वर्षीय एक व्यक्ति को मलबे से सुरक्षित निकाला गया। सहायता एजेंसियों और सरकारों ने तुर्की और सीरिया के भूकंप प्रभावित हिस्सों में मदद भेजने के लिए अभियान तेज कर दिया है।
बचावकर्मी तबाही के दो सौ घंटे से अधिक समय बीत जाने के बाद भी लोगों के जीवित मिलने की कुछ उम्मीद में मलबा हटाने के काम में लगे हैं। न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, तुर्की में बीते मंगलवार को मलबे से 9 लोगों को बचाया गया। अब रेस्क्यू उन लोगों पर केंद्रित हो गया है, जिनके पास इस कड़कड़ाती हुई सर्दी में भोजन और रहने की व्यवस्था नहीं है। तुर्की के राष्ट्रपति तैयप एर्दोगन ने कहा कि भूकंप के बाद अब हालात नियंत्रण में हैं।
तुर्की और सीरिया में राहत और बचाव कार्य के लिए एनडीआरएफ की टीमें तैनात हैं। ये टीमें रेस्क्यू ऑपरेशन से लेकर इलाज तक का काम कर रही है। सेना के C-17 ग्लोबमास्टर विमान के जरिए तुर्की और सीरिया में मोबाइल, अस्पताल, दवाइयां और कई राहत सामग्रियों से भरी 5 फ्लाइट भेजी जा चुकी हैं। इसके अलावा एक C-130 जे विमान पर भी राहत सामग्री भेजी गई है।