देश मे परीक्षा प्रणाली को मजाक बनकर रह गई है। जहां देखो रिश्वतखोरी और भ्रष्टाचार का बोलबाला नजर आता है। हमारे ही देश मे जहां लोगो को अपने खुद के विषय का नाम भी नही पता होता वो भ्रष्ट
तंत्र का फायदा उठा कर बोर्ड की परीक्षा में टॉप कर लेते है। सवाल ये है कि परीक्षा में प्रश्न पत्र लीक होते कैसे है? किन लोगों की इसमें भूमिका होती है। अगर गौर से देखा जाए तो ये एक बहुत गंभीर मुद्दा है और बिना बड़े अधिकारियों और नेताओं की संलिप्तता के ऐसा होना मुमकिन नही।
गड़बड़ी करके छात्रों को परीक्षा में पास करवाने वाले लोगो का गिरोह फल-फूल रहा है। ये गिरोह छात्रों से मोटी रकम ऐंठ कर परीक्षाथियों को पास करवाने की गारण्टी लेते फिरते है, इसी तरह के ठग गिरोह जगह-जगह अपना पांव पसार रहे हैं। हमारे देश मे तकनीक इतनी उन्नत है कि इस समस्या को आराम से रोका जा सकता है मगर जब सरकारी तंत्र ही इस पर लगाम न कसना चाहे तो कोई कुछ नही कर सकता। ऐसे हालात में तंत्र की अनदेखी के चलते बेरोजगारी के मारे ये युवा अगर गलत राह पकड़ते हैं तो इसके लिए हमारा ये तन्त्र ही जिम्मेदार है। आज का युवा जवाब मांग रहा है कि कब तक उसके भविष्य से खिलवाड़ होता रहेगा।