कीटोजेनिक डाइट से 2 महीने में 5 किलो वजन कम करें Lose 5 Kilos Belly Fat in 2 Months
Lose 5 Kilos Belly Fat in 2 Months : लोगों का रुझान इस डाइट की ओर बढ़ रहा है। जब शरीर में कार्बोहाइड्रेट्स की मात्रा कम होती है, तो वह केटोसिस नामक स्थिति में चला जाता है। इस स्थिति में शरीर फैट को ऊर्जा में परिवर्तित करने लगता है, जिससे बेली फैट (Belly Fat) और वजन घटने की प्रक्रिया तेज हो जाती है। इस डाइट से मेटाबॉलिज्म बढ़ता है और धीरे-धीरे वजन पर नियंत्रण होने लगता है। यह भी पढ़ें :
Weight loss tips : सुबह की यह 5 आदतें मोटापा कम करने में आपकी मदद कर सकती हैं, जानिए कैसे ? Lose 5 Kilos Belly Fat in 2 Months : एक्सपर्ट का कहना है कि कीटो डाइट (Ketogenic Diet) को लंबे समय तक अपनाने से पहले किसी विशेषज्ञ से सलाह लेना जरूरी है। इसे अपनाने से पहले इसके फायदे और नुकसानों के बारे में अच्छी तरह से जानकारी होना भी जरूरी है। वजन नियंत्रण करने के लिए डाइट के अलावा अपनी जीवनशैली को सुधार करें और अपनी दिनचर्या में वर्कआउट को शामिल करें।
मानसरोवर निवासी अंकित ने बताया कि उन्होंने शहर के एक जिम में काफी मेहनत की, लेकिन बेली फैट (Belly Fat) और वजन कम नहीं हो पाया। फिर उन्होंने कीटोजेनिक डाइट (Ketogenic Diet) को अपनाया और कुछ हतों के बाद सकारात्मक परिणाम मिलने लगे। डायटीशियन के बताए हुए समय तक ही इस डाइट को फॉलो किया। कीटो डाइट (Ketogenic Diet) फॉलो करते समय मीठे का सेवन बिल्कुल कम कर दिया था। डाइट से फायदा मिला। उन्होंने बताया कि कुछ महीनों तक ही उन्होंने इस डाइट को फॉलो किया, क्योंकि एक्सपर्ट का कहना था कि लंबे समय तक इसे अपनाना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक साबित हो सकता है।
पांच किलो वजन घटाया
राजापार्क निवासी जेस्मिन ने बताया कि उन्होंने कीटो डाइट (Ketogenic Diet) को अपनाने के बाद 2 महीने में 5 किलो वजन (Belly Fat) घटाया है। यह उनके लिए बहुत फायदेमंद साबित हुई। यह वजन घटाने की सबसे प्रभावी डाइट में से एक है। संतुलित आहार और नियमित व्यायाम के साथ इस डाइट को अपनाना स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद साबित हुआ।
अपनाते समय सावधानियां भी बेहद जरूरी
डायटीशियन मेधावी गौतम ने बताया कि कीटोजेनिक डाइट (Ketogenic Diet) वजन घटाने का शॉर्टकट तरीका है। इस डाइट में कार्बोहाइड्रेट्स की तुलना में फैट्स की मात्रा कई गुना अधिक होती है। इस कारण इसमें ऊर्जा का स्तर बढ़ता है और थकान कम होती है। इसे अपनाते समय सावधानियां बरतना भी अति आवश्यक है। इस डाइट को लंबे समय तक अपनाना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हो सकता है। शरीर को सभी पोषक तत्वों की जरूरत होती है। केवल फैट पर निर्भर रहना जरूरी पोषक तत्वों की कमी कर सकता है। इस डाइट को लेने से कई साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं।