scriptIIT BHU के पूर्व छात्र व वेद ससोमेकनिका के प्रमोटर आरएन त्रिपाठी ने दिया एक करोड़ का दान, बनेगी मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन प्रयोगशाला | Mechatronics and Automation Laboratory to be set up in IIT BHU, alumnus RN Tripathi donated one crore | Patrika News
वाराणसी

IIT BHU के पूर्व छात्र व वेद ससोमेकनिका के प्रमोटर आरएन त्रिपाठी ने दिया एक करोड़ का दान, बनेगी मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन प्रयोगशाला

IIT BHU में मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन प्रयोगशाला स्थापित की जानी है। इसके लिए संस्थान के मैकेनिकल विभाग के पूर्व छात्र आरएन त्रिपाठी ने संस्थान को एक करोड़ रुपये दान दिया है। त्रिपाठी 1971 बैच में संस्थान के छात्र रह चुके हैं। इतना ही नही उनकी मां एमएमवी, बीएचयू की उस वक्त छात्रा रहीं जब महामना मदनमोहन मालवीय विश्वविद्यालय के कुलपति रहे।

वाराणसीApr 29, 2022 / 05:15 pm

Ajay Chaturvedi

आएन त्रिपाठी, उनकी पत्नी और आईआईटी निदेशक पीके जैन

आएन त्रिपाठी, उनकी पत्नी और आईआईटी निदेशक पीके जैन

वाराणसी. IIT BHU में मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन प्रयोगशाला स्थापित की जानी है। ये प्रयोगशाला मैकेनिकल विभाग में स्थापित होनी है। इसके लिए संस्थान के 1971 बैच के मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग के पूर्व छात्र और वेद ससोमेकनिका (इंडिया) प्राइवेट लिमिटेड कंपनी, कानपुर के प्रमोटर आर.एन. त्रिपाठी ने संस्थान को एक करोड़ रुपये दान किए हैं। ये दान राशि आईआईटी बीएचयू के निदेशक प्रो प्रमोद कुमार जैन को बैंक ड्राफ्ट के मार्फत भेजी गई है। संस्थान ने दान दाता के सम्मान में प्रस्तावित प्रयोगशाला का नाम “आरएन त्रिपाठी (मेक, 1971 बैच) मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन लैबोरेटरी” रखने का निर्णय लिया है।
आर.एन. त्रिपाठी ने अपने बैच के दो साथियों वीएस गर्ग और राजीव पांडेय के परिवार संग
क्या है मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन प्रयोगशाला

मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन एक एकीकृत अवधारणा है जिसमें मैकेनिकल, इलेक्ट्रिकल, कंट्रोल, रोबोटिक्स और कंप्यूटर से सीखने के सिद्धांतों को शामिल किया गया है, जो कुशल और स्मार्ट उत्पादन प्रणालियों को विकसित और नियंत्रित करने और ग्राहकों की जरूरतों को पूरा करने के लिए निर्माताओं की क्षमता को पुनर्जीवित करता है । यह परिष्कृत अवधारणा समय के साथ विकसित हुई है, और अब इसे स्वचालित उपकरणों, स्मार्ट मशीनों और वाणिज्यिक व देशी उद्देश्यों के लिए प्रक्रियाओं को डिजाइन और विकसित करने के लिए नियोजित किया जाता है । मेकट्रॉनिक्स आधारित स्वचालित सिस्टम, अर्थात् स्वचालित निरीक्षण और गुणवत्ता आश्वासन , स्वचालित पैकेजिंग, रिकॉर्ड बनाना और स्वचालित प्रेषण, पूरी उत्पादन प्रक्रिया को तेज करने में मदद करते हैं।
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प्रयोगशाला में होंगे अत्याधुनिक उपकरण

प्रो. प्रमोद कुमार जैन ने बताया कि मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन लैब दो चरणों में नवीनतम आधुनिक उपकरण सुविधा से सुसज्जित होने वाली एक उन्नत प्रयोगशाला होगी। प्राप्त दान का उपयोग पहले चरण में औद्योगिक मेकट्रॉनिक्स प्रशिक्षण प्रणाली, एकीकृत रोबोटिक मिग वेल्डिंग सेल, कम्प्यूटरीकृत अल्ट्रासोनिक वेल्डिंग मशीन, मिनी रोबोट डीआईवाई किट (5 एक्सिस) जैसे आधुनिक उपकरणों के साथ उक्त प्रयोगशाला स्थापित करने के लिए किया जाएगा। दान दाता से प्राप्त होने वाली अतिरिक्त सहायता से एक वर्ष के बाद अन्य आधुनिक उपकरण सुविधा के साथ प्रयोगशाला को दूसरे चरण में और विकसित किया जाएगा ।
प्रस्तावित प्रयोगशाला के उद्देश्य

– मेकट्रॉनिक्स एंड आटोमेशन के अत्याधुनिक क्षेत्रों में अंतःविषय अनुसंधान और उद्योग संचालित नवाचार करने के लिए यूजी, पीजी, रिसर्च स्कॉलर्स के लिए एक केंद्रित प्रयोगशाला वातावरण
– एमएसएमई के तकनीकी कर्मचारियों को प्रशिक्षित करने के लिए कौशल विकास और प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित करने का प्रावधान
– संस्थान-आधारित प्रौद्योगिकी को बाज़ार में स्थानांतरित करने का एक अभ्यास
– जरूरतों को पूरा करने के लिए उद्योग और सरकार के साथ सहयोग
आएन त्रिपाठी की मां तब बीएचयू की छात्रा रहीं जब महामना मालवीय जी कुलपति रहे

आरएन त्रिपाठी, वेद ससोमेकनिका (इंडिया) प्राइवेट लिमिटेड कंपनी, कानपुर के प्रमोटर हैं। 1971 में आईटी, बीएचयू से मैकेनिकल इंजीनियर में स्नातक और 1973 में आईआईटी, दिल्ली से एम.टेक (डिजाइन) कर चुके हैं। इनको मातृ संस्था बीएचयू से विरासत में प्याल मिला था। इनके पिता, बीएचयू के मेडिकल संकाय से एबीएमएस और माता महिला महाविद्यालय, बीएचयू से 1946 में बीए व बीएड हैं जब पं मदन मोहन मालवीय बीएचयू के कुलपति थे ।
क्या है वेद ससोमेकनिका

वेद ससोमेकनिका (इंडिया) प्रा. लिमिटेड की स्थापना 1987 में इटली के ससोमेकनिका एसआरएल. के सहयोग से स्वचालित मार्बल प्रोसेसिंग मशीनों के निर्माण के लिए की गई थी। 1992-93 में कंपनी ने लोकोमोटिव की प्रमुख वस्तुओं के निर्माण के लिए डीजल लोकोमोटिव वर्क्स, वाराणसी के साथ वैकल्पिक रूप से जुड़कर अपनी उपस्थिति दर्ज की। वर्तमान में कंपनी लोकोमोटिव, कोच और मेट्रो के लिए भारतीय रेलवे के लिए एक सुरक्षा आइटम बोगी फ्रेम्स का निर्माण कर रही है और पिछले 30 वर्षों में 15000 से अधिक बोगीफ्रेम की आपूर्ति कर चुकी है। एकमात्र ऐसी कंपनी होने के अनूठे गौरव के साथ, जिसे सभी लोकोमोटिव और कोच बोगियों के प्रोटोटाइप विकसित करने के आदेश मिलते थे उसे सफलतापूर्वक पूरा किया, जिसमें एक्सपोटेक / राइट्स और नवीनतम वंदे भारत बोगी फ्रेम्स के माध्यम से कई निर्यात परियोजनाएं शामिल हैं।
बोगी फ्रेम के निर्माण से जुड़ी है वेद ससोमेकेनिका
वेद ससोमेकेनिका बोगी फ्रेम के निर्माण के लिए आधुनिक सुविधाओं के साथ अत्याधुनिक तकनीक से सम्पन्न है । यह ईएन 15085 के यूरोपीय मानक के साथ प्रमाणित एक लिमिटेड निर्माण कंपनियों में से एक है । इस कंपनी को 2017 में आईसीएफ / चेन्नई द्वारा वंदे भारत ट्रेन के लिए बोगी फ्रेम बनाने के लिए एकमात्र निर्माता के रूप में चुना गया था । कंपनी के प्रमुख ग्राहकों में डीएलडब्लू, वाराणसी; सीएलडब्ल्यू, चितरंजन; आईसीएफ, चेन्नई; एमसीएफ, रायबरेली ; पीएलडब्ल्यू, पटियाला और राइट्स एक्सपोटेक के माध्यम से विभिन्न देशों को निर्यात करता है ।
आईआईटी बीएचयू के निदेशक ने जताया आभार

आईआईटी बीएचयू के निदेशक प्रो. प्रमोद कुमार जैन, ने आर एन त्रिपाठी को अपनी मातृ संस्थान के लिए दिए गए उदार दान की खातिर आभार व्यक्त किया। इस बीच आर.एन. त्रिपाठी ने अपने बैच के दो साथियों वीएस गर्ग और राजीव पांडेय के साथ सपरिवार संस्थान का दौरा किया। निदेशक, प्रो. प्रमोद कुमार जैन ने संस्थान में सभी का स्वागत किया। इस दौरान अधिष्ठाता (संसाधन एवं पूर्व छात्र) प्रो. राजीव श्रीवास्तव, संस्थान के अन्य अधिष्ठाता, मैकेनिकल इंजीनियरिंग के विभागाध्यक्ष प्रतिनिधि और प्रो. एके त्रिपाठी (संगणक विज्ञान एवं अभियांत्रिकी) अतिथियों सहित उपस्थित थे ।

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