मणिकर्णिका व हरिश्चन्द्र घाट में शवदाह करने आने वालों को अंतिम संस्कार के लिए घंटों इंतजार करना पड़ रहा है। गंगा घाट पहले ही बाढ़ में डूबे हुए हैं ऐसे में लोगों को गलियों में चिता जलानी पड़ रही है। हरिश्चन्द्र घाट की सड़क पर चिता जलाने से उसका धुआ आस-पास के घरों में पहुंच रहा है जिससे लोगों को नयी समस्या का सामना करना पड़ रहा है। शवदाह करने के बाद लोगों को गंगा स्नान करना भारी पड़ रहा है। गलियों में बह रही गंगा में ही डुबकी लगानी पड़ रही है। बाढ़ की हालत यह हो गयी है कि गंगा व वरुणा का जलस्तर थमने का नाम नहीं ले रहा है। घाट किनारे रहने वाले दहशत में आ चुके हैं रोज नये इलाको में पानी पहुंच रहा है और लोगों को अपना घर छोड़ कर जाना पड़ रहा है।
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