होलाष्टक समाप्त, शुभ कार्य शुरू
होली के आठ दिन पहले तीन मार्च को होलाष्टक की शुरुआत हुई थी और इस दौरान ज्योतिष मत से शुभ कार्य वर्जित माने जाते है। होलाष्टक की अवधि तिथि के माध्यम से गिनी जाती है। आठ दिवसीय होलाष्टक की शुभ कार्य वर्जित अवधि सोमवार को होलिका दहन के साथ ही पूरी हो जाएगी। सोमवार को होलिका दहन व मंगलवार को होली खेलने के बाद से ही शुभ कार्यों की शुरुआत हो जाएगी।
होलिका दहन में होंगे कई उपाय
शक्तिपुंज सेवा ट्रस्ट के संस्थापक मुकेश गुरुजी ने बताया कि सोमवार को होलिका दहन के दर्शन से जातकों को शनि-राहू केंद्र के दोष से शांति मिलती है। होलिका की भस्म के तिलक से नजरदोष से मुक्ति मिलती है और होलिका दहन के दौरान सोमवार को ज्यादातर लोग परिवार के साथ श्रीफल की आहुति भी सुख, शांति व समृद्धि की कामना के साथ प्रज्ज्वलित अग्नि में देंगे।