अवनि की मां के अनुसार, अवनि हमेशा कहती थी कि उसे पायलट बनना है। उन्होंने बताया कि जब अवनि बीटेक की पढ़ाई के लिए राजस्थान जा रही थी तब हम उसे छोड़ने गए। वहां उसे छोड़ते वक्त मैंने उससे कहा कि यहां से आगे का रास्ता तुम्हें अकेले ही तय करना है।
अवनि देश की पहली तीन महिला फाइटर पायलटों में से एक हैं। अवनि के पिता रीवा में सिंचाई विभाग में अधिकारी हैं। अवनि ने अकेले मिग-21 बाइसन उड़ाकर एक इतिहास रचा था। उन्होंने गुजरात के जामनगर एयरबेस से यह उड़ान भरी थी। इसके साथ ही अवनि फाइटर प्लेन उड़ाने वालीं पहली भारतीय महिला पायलट बन गई थीं।
अवनि के बड़े भाई भी भारतीय सेना में हैं। अवनि अपने बड़े भाई से ही प्रेरित होकर भारतीय सेना में आने का निर्णय किया था और बचपन से उसका सपना पायलट बनने का था। 2016 के पहले भारतीय वासुसेना में महिलाओं को फ़ाइटर प्लेन चलाने की अनुमति नहीं थी। लेकिन अनुमति मिलने के दो साल बाद ही अवनि ने पहली महिला फ़ाइटर प्लेन पायलट बनने का तमगा अपने नाम कर लिया है। उन्होंने अकेले मिंग-21 उड़ा कर इतिहास रचा था।