जिले में 172 लोग जो सामाजिक न्याय विभाग से मिलने वाली पेंशन के हकदार नहीं थे, उन्होंने सालों तक पेंशन ले ली। यह खुलासा हाल ही में हुए सर्वे में हुआ है।
Not even four years, 53 democracy fighters got pension
रतलाम. जिले में 172 लोग जो सामाजिक न्याय विभाग से मिलने वाली पेंशन के हकदार नहीं थे, उन्होंने सालों तक पेंशन ले ली। यह खुलासा हाल ही में हुए सर्वे में हुआ है। 2019 के पूर्व यह सर्वे 2007 में हुआ था। तब से अब तक अपात्र अपना नाम जुड़वाकर पेंशन की राशि डकार रहे थे। इस मामले में शासन को सूचना तो दे दी गई, लेकिन अब तक वसूली या पुलिस कायमी कराने के आदेश नहीं आए है तो अधिकारी भी हाथ पर हाथ धरकर बैठे है।
pension of Misa prisoners” src=”https://new-img.patrika.com/upload/2019/01/02/3_4_5366756-m.jpg”> IMAGE CREDIT: Patrika सामाजिक न्याय विभाग की ओर से दी जाने वाली पेंशन के लिए अगस्त में इस सर्वे की शुरुआत हुई। यह सर्वे जिले में अक्टूबर तक चला। नगर निगम रतलाम को छोड़कर शेष जनपद व निकाय ने इस कार्य को समय पर कर लिया। इसलिए फिलहाल यह आकड़ा 172 तक का है। जब नगर निगम का सर्वे पूरा हो जाएगा तब यह संख्या और बढ़ सकती है। नियम कहते है कि अपात्र होते हुए भी जब यह सिद्ध हो कि किसी ने गलत तरीके से शासन के धन का उपयोग किया है तो उसके ऊपर रुपए की वसूली के साथ-साथ पुलिस प्रकरण बनता है, लेकिन विभाग ने सर्वे के बाद सिर्फ नाम हटा दिए। यहां तक की इसके लिए अब तक न तो पुलिस को सूचना दी न वसूली के कोई प्रयास किए।
ऊपर जानकारी भेज दी अब तक इस बारे में शासन से कोई अलग से निर्देश नहीं मिले हैं कि सर्वे में जो अपात्र पाए जाए उनके नाम हटाने के अलावा क्या किया जाए। सर्वे में अपात्र व पात्र का चयन करना था, वो कार्य किया गया है। शासन से इस बारे में कोई निर्देश आएंगे तो आगे की कार्रवाई की जाएगी। हमने ऊपर जानकारी भेज दी है। – एसएस चौहान, उपसंचालक, सामाजिक न्याय विभाग