मंडी संशोधन विधेयक पर राज्यपाल ने तोड़ी चुप्पी, कहा- मनमुटाव जैसी बात नहीं, ले रहे हैं कानूनी सलाह
सूत्रों के मुताबिक पुरंदेश्वरी ने पूर्व के विधानसभा सत्रों में भाजपा नेताओं के प्रदर्शन की सराहना की थी। मगर, विधानसभा में सभी विधायक मुद्दे नहीं उठाते। 4-5 विधायक ही सरकार को घेरते हैं। इस बार सत्र के 10 दिन पहले बैठक आयोजित करना का मकसद भी यह है कि हर एक विधायक के पास मुद्दे हों।विधानसभा सत्र के आसपास आ सकतीं हैं प्रदेश प्रभारी
पार्टी सूत्रों के मुताबिक प्रदेश प्रभारी विधानसभा सत्र के पहले या फिर बाद में कभी भी दौरा कर सकती हैं। ज्यादा संभावना बाद में दौरा होने की है, ताकि वे विधानसभा में नेताओं की परफॉर्मेंस की समीक्षा कर सकें। प्रदेश प्रभारी नेताओं को यह कह चुकी हैं कि वे कभी भी आ-जा सकती हैं।
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इन मुद्दों की रहेगी गूंज
प्रदेश में किसानों की आत्महत्या, धान खरीदी में अव्यवस्था, रकबा में कटौती, धान की चौथी किस्त का भुगतान न होना, बस्तर के आदिवासियों के मुद्दे, बढ़ती अपराधिक घटनाएं, अवैध रेत खनन, अवैध शराब बिक्री जैसे मुद्दे उठेंगे।