सोशल मीडिया पर स्पीकअप इंडिया ( SpeakupIndia ) अभियान के तहत कांग्रेस सरकार के कानों तक NEET-JEE एग्जाम को टालने के लिए आवाज बुलंद करेगी। इसमें कांग्रेस नेता राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) से लेकर तमाम दिग्गज नेता सरकार से अपील कर रहे हैं कि वे कोरोना काल में बच्चों की जान को जोखिम में ना डाले और इन परीक्षाओं को फिलहाल टाल दे।
कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ( Sonia Gandhi ) ने कहा कि- छात्र हमारा भविष्य हैं, हम एक बेहतर भारत के निर्माण के लिए उन पर निर्भर हैं। ऐसे में उनके भविष्य के संबंध में कोई निर्णय लेना है, तो यह महत्वपूर्ण है कि यह उनकी सहमति के साथ लिया जाए।
NEET-JEE एग्जाम को लेकर हो रही विरोध के बीच बीजेपी सांसद ने स्टूडेंट्स की तुलना द्रौपदी से कर डाली, जानें खुद को क्या बताया राहुल गांधी ने कहा- NEET-JEE के उम्मीदवारों की सुरक्षा को सरकार की विफलताओं के कारण समझौता नहीं करना चाहिए। सरकार को सभी हितधारकों को सुनना चाहिए और एक आम सहमति पर पहुंचना चाहिए।
कांग्रेस महासिचव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा, ‘कोरोना के बढ़ते संक्रमण के माहौल में JEE & NEET परीक्षा देने जाने वाले छात्र-छात्राओं व उनके अभिवावकों की बात सुनना जरूरी है. ये बच्चे देश के भविष्य हैं. छात्र-छात्राओं की चिंताओं को संवेदना से देखना होगा न कि हठ और राजनीतिक दृष्टि से।’
– कांग्रेस नेता पीएल पुनिया ने कहा कि देशभर में JEE और NEET की परीक्षाएं स्थगित करवाने के लिए छात्रों द्वारा आंदोलन किये जा रहे हैं। कोरोना और बाढ़ जैसी असामान्य स्थितियां पैदा होने के कारण लाखों छात्र परीक्षाओं से वंचित हो जायेंगे, ऐसे में ये परीक्षाएं स्थगित की जानी चाहिए।
– मोती लाल वोहरा ने कहा- कांग्रेस पार्टी छात्रों द्वारा JEE और NEET की परीक्षा स्थगित करने की मांग का समर्थन करती है। असम और बिहार जैसे बाढ़ प्रभावित राज्यों के छात्रों को परेशानियां उठानी पड़ेंगी। कांग्रेस छात्रों के साथ खड़ी है
– हरिश रावत ने कहा- कोरोना संकट के कारण छात्र-छात्राओं की परीक्षा तैयारी प्रभावित हुई है। ऐसे समय में छात्र-छात्राओं से परीक्षाएं लेने का फैसला एक दंडात्मक निर्णय है। कोरोना संकट से अलग भी देख जाये तो कई राज्यों में बाढ़ की स्थितियां हैं।
– कर्नाटक के बंगलूरू में कोरोना वायरस महामारी के दौरान नीट और जेईई की परीक्षा को स्थगित करने और छह महीनों के लिए सेमेस्टर फीस को माफ करने की मांग को लेकर एनएसयूआई भूख हड़ताल कर रही है।
गुजरात के अहमदाबाद में नीट और जेईई की परीक्षा कराने को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को पुलिस ने हिरासत में लिया। जतिन प्रसाद ने कहा- हम सरकार से यह मांग करते हैं कि हमारे देश के छात्रों की सुरक्षा सर्वोपरि है। महामारी के बीच इन परीक्षाओं का होना कतई सही नहीं है। इसमें छात्रों को संक्रमण का खतरा हो सकता है। इसलिए सरकार इस निर्णय को जल्द से जल्द वापस लें।
कुलदीप बिश्नोई ने कहा- आपदा में अवसर के नाम पर कब तक जान से खेलोगे, क्या परीक्षा जीवन से बढ़कर है? ऐसे भविष्य के चक्कर में तुम वर्तमान को भी खो दोगे। मैं भाजपा सरकार से सवाल करता हूं कि क्या आपका फर्ज नहीं बनता कि हमारे छात्रों के जीवन के बारे में सोचें?
मानसून को लेकर मौसम विभाग ने जारी किया सबसे बड़ा अलर्ट, देश के इन राज्यों में अगले कुछ घंटों में होगी जोरदार बारिश,जानें अपने इलाके का हाल स्पीकअप इंडिया के जरिए सबसे पहले कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने लोगों से अपील की कि वे ‘लाखों परेशान छात्रों के साथ अपनी आवाज जोड़ें। उन्होंने कहा कि #SpeakUpForStudentSafety पर आएं और सरकार से छात्रों की बात सुनने की मांग करें।
युवा कांग्रेस कार्यकर्ता सुबह से ही सड़कों पर उतर आए हैं। देशभर में ये कार्यकर्ता परीक्षाओं को टालने के लिए अपील कर रहे हैं। यही नहीं एनएसयूआई भूख हड़ताल पर बैठी है।
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जेईई-नीट एग्जाम को टालने के लिए चलाए जा रहे देशव्यापी प्रदर्शन के बीच शाम 4.30 बजे कांग्रेस समेत सात राज्यों के नेता मीडिया से रूबरू होंगे। कांग्रेस की ओर से अभिषेक मनु सिंघवी शामिल होंगे।
आपको बता दें कि JEE मेंस का एग्जाम पहले सात से 11 अप्रैल के बीच होना था और पहले इसे 18 से 23 जुलाई तक टाला गया. फिर दोबारा तिथि बदलकर इसे एक से छह सितंबर किया गया। वहीं NEET की परीक्षा तीन मई को होनी थी, जिसे पहले 26 जुलाई किया गया। फिर दोबारा तिथि बढ़ने से अब यह 13 सितंबर को हो रही है।
ये है एग्जाम को लेकर तैयारी
दरअसल NEET-JEE दोनों ही एग्जाम को लेकर नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ( NTA ) की ओर से प्रवेश पत्र जारी कर दिए हैं और इसके साथ ही कोरोना के मद्देनजर सख्त दिशा-निर्देश भी दिए हैं।
परीक्षा केंद्र पर बनेंगे आइसोलेशन रूम
एनटीए ने एडवाइजरी जारी कर NEET परीक्षा केंद्रों में आइसोलेशन रूम बनाने के आदेश दिए हैं। छात्रों को मेडिकल स्क्रीनिंग के बाद ही केंद्र में प्रवेश करने दिया जाएगा।
वहीं, यदि बॉडी टेंपरेचर 99.4 डिग्री सेल्सियस हुआ तो विद्यार्थी को पहले आइसोलेशन रूम में आराम के लिए भेजा जाएगा और 15 से 20 मिनट बाद दोबारा से टेंपरेचर चेक किया जाएगा। अगर सब कुछ सामान्य हुआ तो वह परीक्षा दे सकेगा वरना घर वापस भेज दिया जाएगा।