अपना जीविकोपार्जन करने के लिए विदेश की ओर रूख करने वाले मजदूरों को अक्सर ठगा जाता है। विदेशी कंपनियां इन्हें रोजगार उपलब्ध करवाने का झांसा लेकर अपने साथ ले जाती है और उन्हें वहां ले जाकर राम भरोसे छोड़ दिया जाता है। कई बार तो परिजनों तक उनकी सूचना तक भी नहीं पहुंचती है। पर कतर में फंसे मजदूरों ने अपने परिवार से गुहार लगाने के लिए सोशल मीडिया का उपयोग किया। सभी के कतर में फंसे होने की जानकारी मिलने के बाद से इनके परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है। कुछ भी नहीं सूझ रहा कि अपने लाल को कैसे घर लाया जा सके।
नहीं दिया वेतन, पड़े खाने पिने के लाले
प्राप्त जानकारी के मुताबिक मुजफ्फरपुर के मोतीपुर प्रखंड के ठीकहां गांव के मोहम्मद सोहैल,आफताब आलम और आबिद हुसैन समेत सौ से ज्यादा बिहारी मजदूर एडवांस विजन नामक कंपनी में काम कर रहे थे। कंपनी ने तीन महीने पहले ही सभी को वेतन देना बंद कर दिया। अब कंपनी के दफ्तर में ताला बंद है। कंपनी के लोग भी अब वहां नज़र नहीं आते। मजदूरों का खाना पीना भी अब दूभर हो गया है। इनके पास पैसे नहीं है। भारत लौटने के नाम पर सभी उत्साहित होते तो हैं पर क्या करें और कैसे जतन करें यह सब समझ में नहीं आ रहा।
मजदूरों ने अपने परिजनों को वीडियो भेजकर वापस बुलाने की गुहार लगाई है। मोतीपुर के ठीकहां गांव में इन मजदूरों के परिजनों का रो रोकर बुरा हाल हो रहा है। मुजफ्फरपुर के डीएम मोहम्मद सोहैल ने इस मामले पर स्वतः संज्ञान लिया और मजदूरों के परिजनों से मिलकर भारत वापस बुलाने का भरसक भरोसा दिया। डीएम ने कहा कि सरकार से मदद लेकर मजदूरों को वापस बुला लिया जाएगा।